
अफगानिस्तान (Afghanistan) पर कब्जे के बाद तालिबान (Taliban) आज नई सरकार का ऐलान कर सकता है. बताया जा रहा है कि मुल्ला बरादर (Mullah Baradar) को नई सरकार की कमान सौंपी जा सकती है. आईए जानते हैं कि आखिर कौन है मुल्ला बरादर, जो अफगानिस्तान में तालिबान की सरकार चलाएगा.
कौन है मुल्ला बरादर?
मुल्ला अब्दुल गनी बरादर का जन्म 1968 में अफगानिस्तान में हुआ. बरादर तालिबान का दूसरे नंबर का नेता है. मुल्ला बरादर तालिबान के संस्थापकों में से एक है. 1994 में तालिबान के गठन में वह भी शामिल था. 1996 से 2001 तक जब तालिबान ने अफगानिस्तान पर राज किया, तब मुल्ला बरादर ने अहम भूमिका निभाई थी. हालांकि, 2001 में अमेरिका के अफगानिस्तान में हमले के बाद से वह अफगानिस्तान छोड़कर भाग गया था.
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पाकिस्तान के कराची में हुआ गिरफ्तार
मुल्ला बरादर पाकिस्तान भाग गया था. वह 2010 में पाकिस्तान के कराची से गिरफ्तार हिआ था. आरोप था कि वह बिना पाकिस्तान को विश्वास में लिए अफगानिस्तान की सरकार से बात करने की कोशिश में था. जब 2018 में अमेरिका ने तालिबान के साथ बातचीत की कोशिशें तेज की, तब मुल्ला बरादर को छोड़ा गया. उसके बाद से मुल्ला बरादर ने कतर के दोहा में तालिबान के राजनीतिक दफ्तर की कमान संभाली.
अमेरिका के साथ बातचीत में निभाई अहम भूमिका
मुल्ला बरादर ने कतर में अमेरिका के साथ बातचीत में अहम भूमिका निभाई थी. मुल्ला बरादर 2021 अगस्त में अफगानिस्तान में तालिबान के कब्जे के बाद काबुल लौटा. बताया जा रहा है कि तालिबान के संस्थापक मुल्ला उमर का बेटा मुल्ला मोहम्मद याकूब, शेर मोहम्मद अब्बास स्टेनकजई भी तालिबान की इस सरकार में अहम पदों पर होंगे.