बिहार में पुलों के गिरने (bridge collapse) का सिलसिला थम नहीं रहा है. एक के बाद एक पुल गिर रहे हैं. इस बार महाराजगंज क्षेत्र में दरोंदा विधानसभा के बॉर्डर को जोड़ने वाला पुल ढेर हुआ है. अभी न तो बारिश हुई है और न ही किसी तरह आंधी या तेज हवा चली, फिर भी पुल धराशायी हो गया. इस मामले का वीडियो सामने आया है.
दरअसल, यह पुल महाराजगंज क्षेत्र के पटेढी-गरौली को जोड़ता था, जो नहर पर बनाया गया था. यह करीब 30 साल पुराना बताया जा रहा है. इस पुल को स्थानीय ग्रामीणों ने चंदा जोड़कर बनवाया था. नहर सफाई के बाद तकरीबन सुबह पांच बजे पुल ताश के पत्तों की तरह गिर गया.
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बिहार में एक सप्ताह से भी कम समय में दूसरी घटना हुई है. शनिवार को सीवान जिले में एक छोटा पुल ढह गया. जिला मजिस्ट्रेट मुकुल कुमार गुप्ता ने बताया कि यह पुल दरौंदा और महाराजगंज ब्लॉक के गांवों को जोड़ने वाली नहर पर बना था और सुबह करीब 5 बजे यह ढह गया. डीएम ने कहा कि घटना में कोई हताहत नहीं हुआ. यह बहुत पुराना था. जाहिर तौर पर नहर से पानी छोड़े जाने पर खंभे ढह गए. हम यह सुनिश्चित करने की कोशिश कर रहे हैं कि लोगों को यथासंभव कम असुविधा का सामना करना पड़े.
दरौंदा बीडीओ सूर्य प्रताप सिंह ने कहा कि स्थानीय लोगों का दावा है कि पुल का निर्माण 1991 में तत्कालीन महाराजगंज विधायक उमा शंकर सिंह के योगदान से हुआ था. महाराजगंज के उपमंडल मजिस्ट्रेट अनिल कुमार ने कहा कि 20 फीट लंबा पुल विधायक निधि से बना था. जांच रिपोर्ट के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी.
ग्रामीणों का कहना है कि सफाई के दौरान पुल के पास मिट्टी कटाई नहीं करने को कहा गया था, लेकिन संवेदक नहीं माने. उन्होंने पुल के पास मिट्टी की कटाई कर दी, जिसका नतीजा पानी आने के बाद पुल धड़ाम से गिर गया. गनीमत रही कि पुल गिरने से किसी प्रकार की क्षति नहीं हुई, लेकिन पटेढी-गरौली को जोड़ने वाला पुल गिरने से आने जाने वालों को मुसीबत हो गई है.
लोग बोले- सूचना के बाद भी अधिकारी मौके पर नहीं पहुंचे
सबसे बड़ा सवाल है कि अब आखिर लोग नहर कैसे पार करेंगे. पुल गिरने की सूचना ग्रामीणों ने जिम्मेदारों को दी. पुल सुबह पांच बजे गिरा, इसके पांच से छह घंटे बाद सुपरवाइजर मुन्ना मौके पर पहुंचे. सुपरवाइजर ने कहा कि हमें अभी सूचना मिली है, फौरन घटनास्थल पर आए, देखते हैं कि क्या किया जा सकता है.
स्थानीय ग्रामीणों का आरोप है कि सुबह 5 बजे पुल गिरा, लेकिन अभी तक कोई अधिकारी नहीं आया है. संवेदक के द्वारा मिट्टी कटाई के चलते पुल गिरा है. वहीं संवेदक का कहना है कि पानी आने की वजह से पुल गिरा है, न कि मिट्टी कटाई से. अब देखना होगा कि पटेढी-गरौली को जोड़ने वाला ये पुल फिर से कब तक तैयार होता है.
मंगलवार को अररिया में गिरा था पुल, 12 करोड़ से बना था, उद्घाटन भी नहीं हुआ था
इससे पहले, मंगलवार को अररिया में लगभग 180 मीटर लंबा एक नवनिर्मित पुल ढह गया था. अररिया के सिकटी में बकरा नदी पर बना पुल मंगलवार को गिरकर ध्वस्त हो गया. इस पुल का उद्घाटन किया जाना था, लेकिन इससे पहले ही पुल धड़ाम से गिर गया. सिकटी प्रखंड स्थित बकरा नदी पर 12 करोड़ की लागत से पड़रिया पुल का निर्माण किया गया था.
मंगलवार को पुल के 3 पिलर नदी में धंस गए और पुल गिर गया. सिकटी विधायक विजय मंडल इस मामले में कहा कि जिले के ग्रामीण कार्य विभाग द्वारा यह पुल तैयार किया गया था. जमीन पर ही पिलर गाड़कर तैयार किया गया था. एप्रोच रोड भी नहीं बना था. करीब 12 करोड़ की लागत वाले करीब 100 मीटर का यह पुल था. इसका उद्घाटन नहीं हुआ था, पूरी तरह से कंप्लीट भी नहीं था.