बिहार में हुए मंत्रिमंडल विस्तार और बीजेपी नेताओं की बयानबाजी के बाद से यह सवाल उठ रहे हैं कि क्या एनडीए में सब कुछ ठीक-ठाक नहीं चल रहा है? दरअसल जब नीतीश कुमार ने कैबिनेट विस्तार के बाद गुरुवार को विभागों का बंटवारा किया तो जीतन राम मांझी के मंत्री बेटे संतोष सुमन से दो विभाग वापस ले लिए गए और इन्हें दूसरे मंत्रियों को दे दिया गया.
संतोष सुमन के पास तीन विभाग थे. अब उनके पास केवल लघु जल संसाधन विभाग बचा है. इसके बाद नीतीश कुमार आज हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा (HUM) के मुखिया जीतनराम मांझी द्वारा पटना के गांधी मैदान में आयोजित दलित समागम में पहुंचे.
नीतीश का 15 सेकेंड का भाषण
इस दौरान नीतीश ने महज 15 सेकंड के लिए ही भाषण दिया और उसके बाद तुरंत वहां से वापस चले गए. बिहार सरकार में मंत्री और जीतनराम माझी के बेटे संतोष सुमन ने सीएम नीतीश कुमार का स्वागत किया.
सीएम नीतीश ने अपने 15 सेकेंड्स के संक्षिप्त उद्बोधन में दलित समागम के लिए आयोजकों को बधाई दी. उन्होंने कहा, 'मैं आप सबका नमन करता हूं. आज पार्टी की मीटिंग हो रही है तो उसके लिए बधाई. मुझे जानकारी मिली तो उसके लिए सभी को बधाई देने आया हूं. इन्हीं शब्दों के साथ आप को बधाई देकर मैं अपनी बात समाप्त करता हूं.' उनका दलित समागम में पहुंचकर जल्द वहां से चले जाने पर सवाल खड़े हो रहे हैं.
NDA में सबकुछ ठीक नहीं?
सवाल इसलिए भी उठ रहे हैं क्योंकि बिहार बीजेपी नेताओं की तरफ से भी ऐसी बयानबाजी की जा रही है जिससे जेडीयू असहज हो सकती है. बिहार बीजेपी प्रमुख दिलीप जायसवाल ने आज ही आजतक से बात करते हुए कहा कि नीतीश कुमार के नेतृत्व में विधानसभा चुनाव लड़ेंगे मगर CM चेहरा कौन होगा यह बीजेपी का पार्लियामेंट्री बोर्ड और एनडीए के सभी घटक दल मिलकर फैसला करेंगे.
जायसवाल के बयान का समर्थन करते हुए बिहार सरकार के मंत्री और बीजेपी नेता प्रेम कुमार ने कहा कि नीतीश कुमार के नेतृत्व में चुनाव लड़ेंगे यह तय है. उन्होंने आगे कहा कि अगर हमारे प्रदेश अध्यक्ष ने कहा है कि चुनाव के बाद विधायक दल तय करेगा नेता कौन होगा तो उन्होंने सही कहा है.
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