पूर्व वित्त मंत्री एवं भाजपा के वरिष्ठ नेता यशवंत सिन्हा ने कहा कि सरकार को इस तरह से अचानक रेल यात्री किराये में वृद्धि नहीं करनी चाहिए थी क्योंकि इससे महंगाई की मार झेल रही जनता पर अतिरिक्त भार पड़ेगा.
संसद भवन परिसर में सिन्हा ने संवाददाताओं से कहा, ‘रेल बजट से पहले माल भाड़े में वृद्धि कर दी गई थी और संसद को इसकी जानकारी नहीं दी गई. सुरक्षा और संरक्षा के बारे में अच्छी अच्छी बातें की गई है लेकिन मैं समझता हूं कि रेल मंत्री केवल चिंता व्यक्त करने तक ही सीमित हैं.. और सभी बातें ‘एनेक्सचर’ में दब गई हैं.’
उन्होंने कहा, ‘आठ सालों में रेल किराये में वृद्धि नहीं की गई और अब अचानक एक बार इतनी अधिक वृद्धि क्यों की गई. इसे एक बार इतना अधिक नहीं बढ़ाया जाना चाहिए था, क्योंकि इससे महंगाई की मार झेल रही जनता पर अतिरिक्त भार पड़ेगा.’ सिन्हा ने कहा कि 500 से 1000 किलोमीटर की यात्रा करने वाली गरीब जनता के लिए रेल किराये में वृद्धि कमर तोड़ने वाली है.
भाजपा नेता ने कहा कि आंकड़ों की बाजीगरी से यात्री किराये में वृद्धि को छिपाने का प्रयास किया गया है. जब इसके ब्यौरे पर ध्यान देंगे तब इसकी हकीकत का पता चलेगा.
उन्होंने कहा कि रेल बजट में जितने भी आंकड़े दिये गए हैं, वह सब कागजी हैं.