भारतीय जीवन बीमा निगम की 10 से 15 फीसदी हिस्सेदारी बेचने का ऐलान 1 फरवरी को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण बजट में कर सकती हैं. इसके अलावा IDBI बैंक की भी हिस्सेदारी बेचने की योजना बजट में पेश की जा सकती है.
न्यूज एजेंसी रॉयटर्स ने वरिष्ठ सरकारी सूत्रों के हवाले से यह जानकारी दी है. सूत्रों का कहना है कि सरकार निजीकरण को आगे बढ़ाने के प्रयास के तहत ये ऐलान कर सकती है. इसी तरह बजट में IDBI बैंक, सेंट्रल बैंक, पंजाब एवं सिंध बैंक में भी हिस्सेदारी बेचने का ऐलान वित्त मंत्री कर सकती हैं.
निजीकरण प्रयास होगा तेज
गौरतलब है कि कोरोना संकट की वजह से इस वित्त वर्ष में एअर इंडिया और भारत पेट्रोलियम जैसी दिग्गज सरकारी कंपनियों के विनिवेश या निजीकरण का प्रयास परवान नहीं चढ़ पाया है. इसलिए सरकार अगले वित्त वर्ष में इस प्रयास को तेज करना चाहती है.
इस साल कई दशकों की सबसे बड़ी आर्थिक गिरावट होने की आशंका है, जिसकी वजह से सरकारी खजाने पर भी काफी विपरीत असर पड़ेगा. इसलिए सरकार के सामने राजस्व बढ़ाने का प्रमुख रास्ता विनिवेश ही दिख रहा है. शेयर बाजार में काफी तेजी का माहौल है, ऐसे में विनिवेश से सरकार को अच्छी रकम मिलने की उम्मीद है.
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एक सरकारी सूत्र का कहना है कि एलआईसी के निजीकरण के लिए सरकार को एलआईसी एक्ट में बदलाव करना होगा और इसके लिए संसद की मंजूरी लेनी होगी. सरकार पिछले साल से हीएलआईसी के विनिवेश की तैयारी कर रही है, लेकिन कई कानूनी और प्रशासनिक बाधाओं की वजह से यह अभी तक कारगर नहीं हो पाया है.
आएगा आईपीओ
गौरतलब है कि भारतीय जीवन बीमा निगम के आईपीओ का निवेशक पिछले साल से ही इंतजार कर रहे हैं. यह आईपीओ 2021 की पहली छमाही में कभी भी आ सकता है. सरकार ने इसके वैल्युएशन के लिए फर्म की नियुक्ति कर दी है. यह भारतीय शेयर बाजार का सबसे बड़ा आईपीओ साबित हो सकता है.