पूर्व प्रधानमंत्री व मशहूर अर्थशास्त्री मनमोहन सिंह ने केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली द्वारा पेश किए गए आम बजट की आलोचना करते हुए कहा कि इसके इरादे नेक हैं, लेकिन पर्याप्त रोडमैप का अभाव है. कांग्रेस के नेतृत्व वाली यूपीए सरकार में 10 साल तक प्रधानमंत्री रहे मनमोहन सिंह ने समाचार चैनल एनडीटीवी से कहा कि राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) सरकार कच्चे तेल और अन्य वस्तुओं की कीमतों में आई कमी का फायदा उठाने में विफल रही है. उन्होंने 15 हजार करोड़ रुपये के शुद्ध राजस्व कर को भी कम बताया.
उन्होंने कहा, 'जेटली बेहद किस्मत वाले वित्त मंत्री हैं. उन्हें एक ऐसी अर्थव्यवस्था मिली, जो पहले से ही अच्छी स्थिति में थी. महंगाई में कमी इसलिए नहीं हुई कि हमने कुछ किया, बल्कि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कच्चे तेल व अन्य वस्तुओं की कीमतों में कमी आने के कारण ऐसा हुआ.'
पूर्व प्रधानमंत्री ने कहा, 'मुझे आशा थी कि जेटली अर्थव्यवस्था को स्थिर और मजबूत करने के लिए इस सुनहरे मौके का इस्तेमाल करेंगे. शुद्ध राजस्व कर में 15 हजार करोड़ की वृद्धि हुई, लेकिन जो बजट 15-16 लाख करोड़ का है, उसमें 15 हजार करोड़ की क्या हैसियत है?'
मनमोहन ने कहा कि वित्तीय घाटा कम करने और व्यापक आर्थिक स्थिरीकरण के लिए जेटली बहुत कुछ कर सकते थे. उन्होंने यह भी कहा कि कृषि पर उतना ध्यान नहीं दिया गया, जितनी जरूरत थी.
इनपुट- आईएएनएस