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अशनीर ग्रोवर की फिनटेक में री-एंट्री.... लॉन्‍च करेंगे एक और कंपनी! तुरंत मिलेगा 5 लाख रुपये तक का मेडिकल लोन

अशनीर ग्रोवर (Ashneer Grover) का ये ऐप मेडिकल लोन प्रोवाइड कराएगा. जिन लोगों को इलाज कराने के लिए इमरजेंसी में पैसे की आवश्‍यकता होगी तो वे इस ऐप से 5 लाख रुपये तक का इस्‍टैंट लोन पा सकेंगे.

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अशनीर ग्रोवर
अशनीर ग्रोवर

BharatPe को-फाउंडर और पूर्व मैनेजिंग डायरेक्‍टर अशनीर ग्रोवर एक बार फिर फिनटेक में एंट्री लेने की तैयारी कर रहे हैं. अशनीर ग्रोवर (Ashneer Grover) अब मेडिकल ऐप के साथ एक नई पारी की शुरुआत करने जा रहे हैं. इस ऐप को ZeroPe का नाम दिया गया है. फिलहाल ये ऐप टेस्टिंग मोड में है और इसे थर्ड यूनिकॉर्न द्वारा डेवलप किया गया है. 

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साल 2023 में अशनीर ग्रोवर ने थर्ड यूनिकॉर्न की स्‍थापना BharatPe से निकलने के बाद की थी. बिजनेस शो शार्क टैंक इंडिया के पूर्व जज ने क्रिकपे (CrickPe) नामक फैंटेसी गेमिंग प्लेटफॉर्म लॉन्च किया था. अब जल्‍द ही ZeroPe ऐप लॉन्‍च होने की उम्‍मीद की जा रही है. 

किस तरीके की सुविधाएं देगा ये ऐप 
अशनीर ग्रोवर का ये ऐप मेडिकल लोन प्रोवाइड कराएगा. जिन लोगों को इलाज कराने के लिए इमरजेंसी में पैसे की आवश्‍यकता होगी तो वे इस ऐप के जरिए 5 लाख रुपये तक का इस्‍टैंट लोन पा सकेंगे. इसके मद्देनजर जीरोपे ऐप का दिल्‍ली की नॉन-बैंकिंग फाइनेंस कंपनी मुकुट फिनवेस्ट के साथ डील हुई है. ZeroPe ऐप वेबसाइट का कहना है कि इस सर्विस का लाभ सिर्फ साझेदारी वाले हॉस्पिटल में ही उठाया जा सकेगा. 

आसान नहीं होगी राह
ग्रोवर के लिए इस सेक्‍टर में राह आसान नहीं होने वाली है, क्‍योंकि पहले से ही कुछ कंपनियां इस तरह की सुविधाएं प्रोवाइड करा रही हैं. इसमें सेवइन, क्यूब हेल्थ, आरोग्य फाइनेंस, नियोडॉक्स, फाइब, केंको और मायकरे हेल्थ जैसी कंपनियां हैं, जो मेडिकल बिल्‍स और अन्य वैकल्पिक इलाज के लिए तुरंत लोन प्रोवाइड कराती हैं. 

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इतना तक बढ़ जाएगा भारत में मेडिकल मार्केट 
गौरतलब है कि साल 2023 में थर्ड यूनिकॉर्न ने ड्रीम11, मोबाइल प्रीमियर लीग (MPL) और गेम्स24x7 के माय11सर्कल को टक्कर देने के लिए क्रिकपे के साथ शुरुआत की थी. हालांकि ये उतना सफल नहीं हो पाया. अब अशनीर ग्रोवर ने इसके तहत मेडिकल ऐप लॉन्‍च करने की तैयारी में हैं.  एक रिपोर्ट के मुताबिक भारत का डिजिटल हेल्थकेयर सेक्‍टर 2030 तक 37 अरब का राजस्व पैदा कर सकता है. इसमें से अकेले मेडिकल लोन 5 अरब डॉलर तक पहुंचने का अनुमान है. 

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