देश का आम बजट (Budget 2024) पेश होने वाला है और 23 जुलाई 2024 को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण संसद में बजट भाषण देंगी. हर बार की तरह ही इस बार भी केंद्रीय बजट से आम और खास सभी को बड़ी उम्मीदें हैं. इस बीच चैंबर ऑफ ट्रेड इंडस्ट्री (CTI) ने अपनी 10 मांगों को लेकर वित्त मंत्री को पत्र भेजा है. इसमें इनकम टैक्स (Income Tax) का नाम चेंज करने से लेकर मिडिल क्लास और छोटे व्यापारियों को राहत देने समेत अन्य मांगें बताई हैं.
इनकम टैक्स का ये नया नाम सुझाया
चैंबर ऑफ ट्रेड इंडस्ट्री (CTI) ने वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण को जो पत्र भेजा है. उसमें सबसे खास मांग इनकम टैक्स से जुड़ी हुई है. दरअसल, सीटीआई ने कहा है कि इनकम टैक्स का नाम बदलकर 'राष्ट्र निर्माण सहयोग निधि' रखा जाए. पत्र में कहा गया है कि अगर ये नाम रखा जाता है, तो फिर इनकम टैक्स को लेकर लोगों की भावनाओं पर असर होगा और लोग ज्यादा से ज्यादा टैक्स देने के लिए प्रेरित होंगे. इसके अलावा दूसरी मांग के बारे में बताएं तो सीटीआई ने कहा है कि Income Tax में 45 दिन में पेमेंट का जो नया नियम आया है, इससे करोड़ों व्यापारी और MSME व्यापारियों को परेशानी झेलनी पड़ रही है, ऐसे में इसे वापस लिया जाए.
टैक्स छूट की लिमिट बढ़ाए जाने की मांग
वित्त मंत्री को लिखे पत्र में शामिल अन्य मांगों पर गौर करें, तो सीटीआई ने इस बार के बजट में मीडिल क्लास को राहत दिए जाने की मांग की है. इसमें कहा गया है कि Middle Class की चिंता है कि 9 साल से इनकम टैक्स में छूट की सीमा 2.5 लाख रुपये ही बनी हुई है, इसे 7 लाख कर देना चाहिए. इससे मिडिल क्लास के उन करोड़ों टैक्सपेयर्स को लाभ होगा. इसके अलावा CTI ने मांग की है कि बुजुर्ग टैक्सपेयर को उनके टैक्स के आधार पर ओल्ड ऐज बेनेफिट्स मिलना चाहिए.
सस्ती दरों पर मिल सके बिजनेस लोन
चैंबर ऑफ ट्रेड इंडस्ट्री ने अपनी अन्य मांगों में सस्ती ब्याज दर पर लोन मुहैया कराने की मांग की है. इस पत्र में कहा गया है कि कार्पोरेट्स और बड़ी कंपनियों को बैंक लोन (Bank Loan) सस्ती ब्याज दर से मिल जाता है, लेकिन मिडिल क्लास और छोटे व्यापारियों के लिए केंद्र सरकार, जो मुद्रा योजना (Mudra Yojna) संचालित कर रही है, उसमें उनको कहीं ज्यादा ब्याज चुकाना पड़ता है सीटीआई ने मांग करते हुए कहा है कि मिडिल क्लास और छोटे व्यापाकिरों को भी सस्ती ब्याज दरों पर लोन मिलना चाहिए.
वित्त मंत्री को लिखे पत्र में ये मांगे भी शामिल