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Deduction Magic Number: वो तीन मैजिक नंबर जो तय करेंगे आपके लिए नया रिजीम बेहतर या पुराना

Investment Magic Number: 15 लाख की आय वालों के लिए मैजिक नंबर 3.58 लाख रुपये है. यानी इतने रुपये का डिडक्शन क्लेम करना होगा. और 20 लाख रुपये की सालाना आय पर 'मैजिक नंबर' 3.75 लाख रुपये सुझाया गया है, यानी 3.75 लाख रुपये से ज्यादा का डिडक्शन क्लेम करना होगा.

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Old Tax Slab Vs New Tax Slab
Old Tax Slab Vs New Tax Slab

अगर आपकी सालाना आय 7 लाख रुपये है, तो आपको एक रुपये टैक्स नहीं देना होगा. पहले आपको 5 लाख रुपये तक की आमदनी पर टैक्स नहीं पड़ता था. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के इस ऐलान के साथ ही नफा-नुकसान का भी आंकलन किया जाने लगा. क्योंकि वित्त मंत्री ने कहा कि पुराना टैक्स स्लैब भी विकल्प के तौर पर रहेगा.

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दरअसल, बजट में आयकर छूट के बाद बहस तेज हो गई है, अगर आमदनी 7 लाख रुपये से ज्यादा है, तो फिर किस टैक्स स्लैब को चुनना चाहिए. यानी अगर आय 8 लाख रुपये, 9 लाख रुपये, 10 लाख रुपये, 11 लाख रुपये, 12 लाख रुपये, 13 लाख रुपये, 14 लाख रुपये, 15 लाख रुपये या फिर 20 लाख रुपये है तो फिर कौन-सा टैक्स स्लैब चुनना फायदे का सौदा साबित होगा. इस तरह के तमाम सवालों के जवाब आपको यहां मिल जाएंगे. 

आयकर से जुड़े तमाम सवालों को लेकर 'आजतक' ने टैक्स एक्सपर्ट प्रीति शर्मा (टैक्स पार्टनर, BDO India) से खास बातचीत की. उन्होंने सरल तरीके से बताया कि अभी भी कुल लोगों के लिए पुराना टैक्स स्लैब ही बेहतर है. इसके लिए उन्होंने मैजिक नंबर बताया. 

प्रीति शर्मा ने बताया कि अगर किसी की सालाना आय 10 लाख रुपये है, तो उसे नए टैक्स स्लैब के हिसाब 60 हजार रुपये टैक्स देना पड़ेगा. लेकिन अगर पुराने टैक्स स्लैब में एक खास मैजिक नंबर से कैलकुलेट करने पर नया टैक्स स्लैब घाटे का सौदा साबित होगा. आइए मैजिक नंबर के खेल को समझते हैं. 

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7 लाख रुपये की आय पर टैक्स जीरो

मैजिक नंबर क्या है?
दरअसल, पुराने टैक्स स्लैब (Old Tax Slab) में डिडक्शन की सुविधा उपलब्ध है. जिसके तहत टैक्सधारक को 80C के तहत 1.50 लाख रुपये तक का टैक्स लाभ मिलता है. 50 हजार रुपये का स्टैंडर्ड डिडक्शन, होम लोन पर 2 लाख रुपये की छूट, NPS में निवेश कर अतिरिक्त 50 हजार रुपये की छूट और मेडिकल इंश्योरेंस के प्रीमियम पर 75 हजार रुपये तक छूट का लाभ मिलता है. एक्सपर्ट प्रीति शर्मा के मुताबिक टैक्सधारक पुराने टैक्स स्लैब में एक निर्धारित राशि डिडक्शन क्लेम कर पुराने टैक्स स्लैब से ही ज्यादा लाभ ले सकता है. 

10 लाख की आमदनी पर मैजिक नंबर- 2.50 लाख रुपये
15 लाख की आमदनी पर मैजिक नंबर- 3.58 लाख रुपये
20 लाख की आमदनी पर मैजिक नंबर- 3.75 लाख रुपये

आइए अब जानते हैं कि इस मैजिक नंबर का आप कैसे इस्तेमाल कर सकते हैं? मान लीजिए दीपक की सालाना आय 10 लाख रुपये है. नए टैक्स स्लैब में उसे 60 हजार रुपये टैक्स भरना पड़ेगा. लेकिन अगर दीपक पुराने टैक्स स्लैब को चुनता है, और केवल 2.50 रुपये से थोड़ा ज्यादा का डिडक्शन लाभ लेता है तो उसे पुराने टैक्स स्लैब से ज्यादा बचत होने वाला है. एक्सपर्ट 10 लाख रुपये आय पर मैजिक नंबर 2.50 लाख रुपये दिया है. यानी इतनी राशि का डिडक्शन क्लेम करना होगा. 

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इसी तरह 15 लाख की आय वालों के लिए मैजिक नंबर 3.58 लाख रुपये है. यानी इतने रुपये का डिडक्शन क्लेम करना होगा. और 20 लाख रुपये की सालाना आय पर 'मैजिक नंबर' 3.75 लाख रुपये सुझाया गया है, यानी 3.75 लाख रुपये से ज्यादा का डिडक्शन क्लेम करना होगा. फिर पुराने टैक्स स्लैब ही बेहतर रिजल्ट देगा. 

कैसे पुराना टैक्स स्लैब फायदेमंद?

पुराने टैक्स रिजीम में 80C के तहत 1.50 लाख रुपये टैक्स लाभ मिलता है. इसके अलावा होम लोन पर 2 लाख रुपये की छूट, 80CCD के तहत NPS में निवेश कर अतिरिक्त 50 हजार रुपये की छूट, 50  हजार रुपये का स्टैंडर्ड डिडक्शन और मेडिकल इंश्योरेंस के प्रीमियम पर भी अधिकतम 75 हजार रुपये तक का छूट का प्रावधान है. 

New Tax Slab के फायदे 

लेकिन शर्त ये हैं कि मैजिक नंबर से ज्यादा डिडक्शन क्लेम करना होगा. अगर कोई निवेश नहीं है, तो नए टैक्स स्लैब ही बेहतर विकल्प रहने वाला है. प्रीति शर्मा का कहना है कि न्यू टैक्स स्लैब एक बेहतर प्रयोग है, क्योंकि इससे पहले सरकार ने साल 2020 में एक नया टैक्स स्लैब सामने लाया था, जिसे बहुत अच्छा रिस्पॉन्स नहीं मिला. पिछले साल करीब साढ़े 6 करोड़ लोगों में से केवल 5 लाख लोगों ने New Tax Slab को चुना था. इसलिए अब उसी में बदवाल कर दिया गया है. 

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गौतरतलब है कि निर्मला सीतारमण ने बजट में नया इनकम टैक्स स्लैब पेश किया, इसके तहत पांच स्लैब बनाए गए हैं और 3 लाख रुपये तक की आमदमी पर 0% टैक्स रखा गया है. सबसे बड़ी बात अगर आप 7 लाख रुपये सालाना कमाते हैं तो आपको एक भी रुपये टैक्स नहीं देना होगा. न्यू टैक्स रिजीम में 15.5 लाख तक की इनकम पर 52500 रुपये स्टैंडर्ड डिडक्शन कर दिया गया है.

टैक्स स्लैब का गणित

नई टैक्स स्लैब के अनुसार पहले जहां 3 लाख रुपये आय पर 2500 रुपये टैक्स लगता था, उसे हटाकर शून्य कर दिया गया है. 3 से 6 लाख रुपये की आय पहले 22500 रुपये का टैक्स लगता था, जो अब घटकर 15000 रुपये हो जाएगा, यानी 7500 रुपये का फायदा होगा. इसी 6 से 9 लाख आय वालों को अब पहले के मुकाबले 15000 रुपये, 9 से 12 लाख रुपये की इनकम वालों को 25000 रुपये का फायदा मिलेगा. और 12 से 15 लाख रुपये की सालाना आय वालों को 37500 रुपये ज्यादा बचेंगे. लेकिन शर्त ये है कि डिडक्शन क्लेम नहीं करता है. 

बजट 2023-24 पेश नया टैक्स स्लैब-

0 से तीन लाख पर 0 फीसदी
3 से 6 लाख पर 5 फीसदी
6 से 9 लाख पर 10 फीसदी
9 से 12 लाख पर 15 फीसदी
12 से 15 लाख पर 20 फीसदी
15 से ज्यादा लाख पर 30 फीसदी

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बता दें, ओल्ड टैक्स स्लैब में ढाई लाख रुपये तक की आमदनी को कोई टैक्स नहीं देना होता है. 2.5 लाख से 5 लाख तक की आय पर 5 फीसदी टैक्स का प्रावधान है. लेकिन सरकार इस पर 12,500 की छूट देती है. सीधा गणित यह है कि पुराने टैक्स स्लैब में 5 लाख तक की आमदनी पर आपको टैक्स नहीं देना पड़ता था. 

पुराना इनकम टैक्स स्लैब- 
2.5 लाख तक- 0%
2.5 लाख से 5 लाख तक- 5%
5 लाख से 10 लाख तक- 20%
10 लाख से ऊपर- 30% 

 

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