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Vodafone Idea का शेयर धड़ाम, इस एक खबर से 20% तक गिरा स्टॉक!

Share market today: कंपनी के बोर्ड ने दूरसंचार विभाग से मिले विकल्पों में से एक को चुनने का फैसला किया. कंपनी के बयान के अनुसार, बोर्ड ने कई बैठकों में विभिन्न विकल्पों पर गौर किया और अंतत: 10 जनवरी को हुई बैठक में निर्णय ले लिया गया.

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गिर गए वोडाफोन आइडिया के शेयर
गिर गए वोडाफोन आइडिया के शेयर
स्टोरी हाइलाइट्स
  • सरकार को इक्विटी देने के फैसले से गिरा शेयर
  • कम हो जाएगी प्रमोटर्स की हिस्सेदारी

टेलीकॉम कंपनी Vodafone Idea के लिए मंगलवार के दिन की शुरुआत ठीक नहीं रही. एजीआर (AGR) बकाये के एवज में सरकार को इक्विटी देने की खबर बाहर आते ही कंपनी के शेयर धड़ाम हो गए. शुरुआती कारोबार में शेयर बाजार पर कंपनी का स्टॉक करीब 20 फीसदी तक गिर गया.

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इस फैसले से गिरा शेयर

कंपनी ने एक बयान में बताया कि उसके बोर्ड ने बकाया ब्याज को इक्विटी में कंवर्ट कर सरकार को हिस्सेदारी देने का निर्णय मंजूर किया है. इसके बाद एनएसई पर वोडाफोन आइडिया का शेयर 17 फीसदी गिरकर 12.65 रुपये तक आ गया. एक दिन पहले यह 14.85 रुपये पर बंद हुआ था. बीएसई पर यह एक समय 12.20 रुपये तक गिर गया. बाद में इसकी हालत कुछ सुधरी, लेकिन 10:30 बजे तक यह 10 फीसदी से ज्यादा गिरा हुआ था.

DoT ने दिया था कंपनी को ये विकल्प

दरअसल, कंपनी के बोर्ड ने दूरसंचार विभाग से मिले विकल्पों में से एक को चुनने का फैसला किया. कंपनी के बयान के अनुसार, बोर्ड ने कई बैठकों में विभिन्न विकल्पों पर गौर किया और अंतत: 10 जनवरी को हुई बैठक में निर्णय ले लिया गया. इसके अनुसार, कंपनी ने स्पेक्ट्रम नीलामी के इंस्टॉलमेंट और इनके इस्तेमाल के शुल्क के ऊपर लगे ब्याज की मौजूदा नेट वैल्यू तय की. सरकार को इस वैल्यू के बराबर शेयर दिए जाएंगे.

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सरकार को मिलेंगे इतने करोड़ शेयर

वोडाफोन आइडिया के शेयर की फेस वैल्यू 10 रुपये है और बकाये ब्यान की NPV करीब 16 हजार करोड़ रुपये आंकी गई है. इस हिसाब से सरकार को करीब 1,600 करोड़ शेयर दिए जाएंगे. यह कंपनी की 35.8 फीसदी हिस्सेदारी के बराबर है. सरकार को ये इक्विटी देने के लिए प्रमोटर्स अपनी-अपनी हिस्सेदारी डायल्यूट करेंगे.

कम हो जाएगी प्रमोटर्स की हिस्सेदारी

फैसला अमल में आने के बाद सरकार वोडाफोन आइडिया की सबसे बड़ी शेयरहोल्डर बन जाएगी. अभी कंपनी में प्रमोटर्स के पास 72.05 फीसदी हिस्सेदारी है. इस फैसले के बाद कंपनी के प्रमोटर्स वोडाफोन ग्रुप (Vodafone Group) के पास करीब 28.5 फीसदी और आदित्य बिड़ला ग्रुप (Aditya Birla Group) के पास करीब 17.8 फीसदी हिस्सेदारी बचेगी.

 

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