मलेशिया को अभी कुछ दिन पहले ही भारत ने आर्थिक मोर्चे पर झटका दिया था. चंद दिन में ही मलेशिया को समझ में आ गया कि भारत से दुश्मनी वह झेल नहीं पाएगा. जम्मू-कश्मीर से धारा-370 हटाने पर मलेशिया ने इस फैसले का विरोध किया था और पाकिस्तान के पक्ष में बयान दिया था. भारत ने उसी दिन तय कर लिया था कि मलेशिया को सबक सिखाना जरूरी है.
दरअसल भारत खाने वाले तेल का सबसे बड़ा आयातक देश है. भारत हर साल करीब 90 लाख टन पाम तेल आयात करता है. मलेशिया से 2019 में कुल 40.4 लाख टन पाम तेल भारत आया था. लेकिन भारत ने इस साल मलेशिया से पाम ऑयल लेना बंद कर दिया है. अब इंडोनेशिया से पाम तेल मंगाया जा रहा है. जिससे मलेशिया अब छटपटाने लगा है.
बता दें, इंडोनेशिया के बाद मलेशिया दुनिया का दूसरा बड़ा पाम तेल उत्पादक और निर्यातक देश है. मलेशिया को अब उम्मीद कर रहा है कि भारत को पाम तेल बेचने की राह में आई अड़चन को वह जल्द ही दूर कर लेगा, क्योंकि मलेशियन पाम काउंसिल ने मंगलवार को एक मंत्री के हवाले से कहा है कि भारत द्वारा मलेशिया से पाम तेल की खरीद पर रोक अस्थाई है. (Photo: Reuters)
खाद्य तेल उद्योग सॉल्वेंट एक्सट्रैक्टर्स एसोसिएशन के कार्यकारी निदेशक डॉ. बी. वी. मेहता ने बताया, 'भारत मलेशिया से पाम तेल का प्रमुख खरीददार है, जो सालाना 30-40 लाख टन पाम तेल मलेशिया से खरीदता रहा है, लेकिन इस समय भारत ने मलेशिया से पाम तेल खरीदना बंद कर दिया है. मलेशिया की चिंता इसलिए भी बढ़ गई है, क्योंकि चीन में कोरोना वायरस के प्रकोप के कारण उसकी खरीददारी पर भी असर पड़ा है.'
मलेशियन पाम काउंसिल के मुताबिक, भारत की खरीददारी पर रोक अस्थाई है और
दोनों देश मिलकर जल्द ही इसका समाधान कर लेंगे. यह बात मलेशिया के उद्योग
मंत्री टेरेसा कोक के बयान का जिक्र करते हुए कही गई है. (Photo: Reuters)
गौरतलब है कि पिछले साल कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाए जाने के मसले को लेकर मलेशिया के प्रधानमंत्री महातिर बिन मोहम्मद ने भारत विरोधी बयान दिया था. इसके बाद भारत में नागरिकता संशोधन कानून यानी CAA को लेकर भी मलेशिया ने तल्ख टिप्पणी की थी.
डॉ. बी. वी. मेहता ने कहा, 'भारत पाम तेल का आयात मलेशिया से कहीं ज्यादा इंडोनेशिया से करता है, इसलिए भारत को मलेशिया से पाम तेल आयात बंद होने से कोई परेशानी नहीं है. अगर, भारत सरकार तेल आयात की अनुमति देती भी है तो भारत सिर्फ क्रूड पाम तेल का आयात करना चाहेगा, आरबीडी पाम तेल की आवश्यकता नहीं है.' (Photo: Reuters)
बता दें, भारत ने मलेशिया से आरबीडी पाम तेल आयात को प्रतिबंधित कर दिया है और इसके आयात के लिए सरकार ने बहरहाल किसी को लाइसेंस जारी नहीं किया है. वहीं, क्रूड पाम तेल की खरीददारी भी इस समय मलेशिया से नहीं हो रही है, जिससे उसकी चिंता बढ़ गई है. (Photo: Reuters)
भारतीय वायदा बाजार मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज पर मंगलवार को पाम तेल के फरवरी अनुबंध में पिछले सत्र के मुकाबले 1.59 फीसदी की तेजी के साथ 739.50 रुपये प्रति 10 किलो पर कारोबार चल रहा था.
मलेशिया के लिए बड़ा झटका
पहले भारत में पाम ऑयल का सबसे बड़ा सप्लायर इंडोनेशिया था, लेकिन रिफाइंड पाम ऑयल पर टैक्स घटाकर मलेशिया 2019 में सबसे बड़ा सप्लायर बन गया.
मलेशिया के लिए पाम ऑयल कारोबार कितना महत्वपूर्ण है इसे इस बात से ही समझ
सकते हैं कि इसका वहां की GDP में 2.5 फीसदी और कुल निर्यात में 4.5 फीसदी
हिस्सा है.