देश में लॉकडाउन की वजह से जब काम-धंधे, खपत ठप पड़ गए थे, तो महंगाई के मोर्चे पर भी राहत मिलनी ही थी. इसी वजह से अप्रैल महीने में थोक महंगाई में भारी गिरावट आई है. इस दौरान यह सिर्फ 0.79 फीसदी रहा. इस दौरान आलू-प्याज की कीमतों में भारी बढ़त हुई है.
हालांकि लॉकडाउन की वजह से पूरे आंकड़े न मिल पाने की वजह से बाद में इसमें कुछ संशोधन भी हो सकता है.
ईंधन, ऊर्जा और खाने-पीने की चीजों की कीमतों में कमी की वजह से अप्रैल में थोक महंगाई में गिरावट आई है. मार्च में थोक महंगाई दर 0.79 फीसदी थी.
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आलू-प्याज की कीमतें काफी बढ़ीं
आंकड़ों में कहा गया है कि अप्रैल माह में मोटे अनाज की थोक कीमतों में 2.74 फीसदी ,धान में 1.40 फीसदी, गेहूं में 7.26 फीसदी, दाल में 12.31 फीसदी, साग-सब्जी में 2.22 फीसदी, आलू में 69.40 फीसदी, प्याज में 73.52 फीसदी, अंडा, मांस, मछली में 5.87 फीसदी की वृद्धि हुई है. फलों की कीमतों में 1.69 फीसदी, की गिरावट आई है.
आंकड़े भी पूरे नहीं हैं
न्यूज एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, सरकार ने थोक मुद्रास्फीति के आंकड़े जारी करते हुए बताया कि कोरोना महामारी के कारण लागू लॉकडाउन की वजह से आंकड़ों को पूरी तरह से नहीं जुटाया जा सका है. मंडियां पूरी तरह से बंद हैं. इनके खुलने के बाद अंतिम आंकड़े संशोधित होंगे. अभी तक सीमित आंकड़े ही जुटाए जा सके हैं.
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खाद्य महंगाई 3.6 फीसदी
आंकड़ों के अनुसार, फ्यूल और पावर बास्केट में अप्रैल में 10.12 फीसदी की कमी आई है. थोक मूल्यों पर आधारित खाद्य मुद्रास्फीति की दर 3.60 फीसदी रही है. एक साल पहले यानी अप्रैल 2019 में थोक खाद्य महंगाई दर 5.49 फीसदी थी.
आंकड़ों के अनुसार अप्रैल 2020 में प्राथमिक वस्तुओं की थोक मुद्रास्फीति दर 0.79 फीसदी रही. इसी तरह ईंधन और ऊर्जा की कीमतों में 10.20 फीसदी की कमी आई है.