इंडिपेंडेंस डे के मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी चौथी बार लाल किले की प्राचीर से देश को संबोधित करने जा रहे हैं. इससे पहले तीन बार इस मौके पर प्रधानमंत्री ने देश के विकास के लिए इस मंच से कई कार्यक्रमों का ऐलान किया. बात चाहे सात दशक पुराने योजना आयोग को बंद कर नीति आयोग गठित करने की हो, सांसदों द्वारा अपने चुनाव क्षेत्र में आदर्श ग्राम स्थापित करना हो या फिर देश के समुचित विकास के लिए टीम इंडिया बनाने की, पीएम मोदी ने इस मंच से कई कार्यक्रमों की शुरुआत की है.
अब जब पीएम मोदी लालकिले से अपना चौथा भाषण देने जा रहे हैं, जानिए पहले तीन भाषणों में उनके कौन से वादे और कार्यक्रम हैं जो अब भी पूरे नहीं हो सके हैं.
1. अपने पहले भाषण में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने प्रधानमंत्री जन-धन योजना का ऐलान करते हुए कहा था कि इस योजना के तहत देश में गरीब जनता का डेबिट कार्ड बनाया जाएगा और साथ ही प्रति परिवार को 1 लाख रुपये का जीवन बीमा दिया जाएगा. इस योजना से एक गरीब परिवार इस जनधन खाते से जरूरत पड़ने पर पैसा निकाल सकता है. इस कार्यक्रम को बीते साल के दौरान आगे बढ़ाया गया है और बड़ी संख्या में जनधन खाते खोले गए हैं लेकिन इस योजना का फायदा उठाने के लिए गरीब परिवार अब भी इंतजार कर रहा है.
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2. पीएम मोदी ने लालकिले से कहा था कि देश की 65 फीसदी जनसंख्या 35 वर्ष आयु से कम की है. इस ताकत से सर्वाधिक फायदा उठाने के लिए केन्द्र सरकार स्किल इंडिया कार्यक्रम के जरिए एक बड़ी स्किल्ड वर्क फोर्स तैयार करने की योजना पर लगी है. इसके साथ ही पीएम ने इस बात पर भी जोर दिया कि इन कार्यक्रमों के जरिए दुनियाभर को वर्क फोर्स देने के लिए देश के युवा को तैयार किया जाना है. लेकिन बीते तीन साल के दौरान इन कार्यक्रमों पर किसी सार्थक पहल का इंतजार है.
3. केंद्र सरकार ने अपनी स्टैंड अप इंडिया योजना के तहत देश में छोटे कारोबारी और उद्यमिता को बढ़ावा देने का खाका तैयार किया. इस योजना का खुलासा भी प्रधानमंत्री ने लाल किले की प्राचीर से किया. ये योजना छोटे कारोबारी और अंत्रप्रन्योरशिप को बढ़ावा देकर इतना सक्षम बनाने की है कि वह देश में युवा के लिए बड़ी संख्या में रोजगार पैदा कर सकें. इस कार्यक्रम में भी अभी किसी सार्थक नतीजे का इंतजार है.
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4. देश में कारोबार कोबढ़ावा देने के लिए पीएम मोदी ने अभीतक की अपनी सबसे बड़ी स्कीम मेक इन इंडिया का जिक्र लालकिले से किया. इस स्कीम के तहत देश को पूरी दुनिया के लिए मैन्यूफैक्चरिंगहब बनाना है. इसके चलते केन्द्र सरकार की कोशिश मैन्यूफैक्चरिंग क्षेत्रमें दुनियाभर की कंपनियों से इस शर्त पर करार करने की है जिससे उक्त कंपनी भारत में उत्पाद की मैन्यूफैक्चरिंग करने के लिए तैयार रहे. इस कार्यक्रम से जहां देश के मैन्यूफैक्चरिंग सेक्टर को मजबूत करना है वहीं ब्रांड इंडिया का भी दुनियाभर में विस्तार करना है. इस स्कीम को भी अभी एक बड़ी सफलता का इंतजार है.
5. केन्द्र सरकार की कमान संभालने के बाद लाल किले की प्राचीर से अपने पहले भाषण में पीएम मोदी ने देश के सभी सांसदों से एक गांव गोद लेने की अपील की थी. एक साल के अंदर सभी सांसदों को इस चुने हुए गांव को विकास का मॉडल बनाते हुए आदर्श ग्राम में बदलना था. मौजूदा समय में यह स्कीम अपने दूसरे और तीसरे चरण में है जहां सांसदों को दूसरे और तीसरे गांव का चयन कर उसे भी आदर्श ग्राम की तर्ज पर विकसित करना था. लेकिन इस स्कीम में अभी तक किसी एक ग्राम को आदर्श ग्राम के तौर पर सामने पेश नहीं किया गया है.