जनवरी के बाद अप्रैल महीने में विदेशी निवेश में 100 फीसदी से ज्यादा की बढ़त दर्ज की गयी. पिछले साल अप्रैल में विदेशी निवेश जहां महज 1.7 बिलियन डॉलर था वही इस साल यह दोगुने से अधिक 3.6 बिलियन डॉलर पर पहुंच गया.
औद्योगिक नीति और संवर्द्धन विभाग (DIPP) के सचिव अमिताभ पंत ने बताया कि सरकार लगातार व्यापार के पक्ष में माहौल बनाने का प्रयत्न कर रही है. इसी का नतीजा है कि विदेशी निवेश में रिकार्ड बढ़ोतरी हुई है. और इसके साथ पंत ने इस साल खूब विदेशी निवेश आने की सम्भावना भी जतायी.
प्रधानमंत्री मोदी की 'मेक इन इंडिया' के तहत मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर को बढ़ावा देने की पहल के लिए अच्छी खबर है. क्योकि मैन्युफैक्चरिंग में 142 फीसदी की बढ़त देखी गयी.
पिछले सप्ताह केन्द्रीय सांख्यिकीय संगठन (CSO) के द्वारा जारी डेटा भी अप्रैल महीने में औद्योगिक गतिविधि में जबरदस्त बढ़ोतरी के बारे में बतलाता है. अप्रैल में औद्योगिक गतिविधि मे ग्रोथ 4.1 % रही वही मार्च में महज 2.5 % ही थी. मतलब साफ़ है कि इंडस्ट्रियल सेक्टर में विदेशी निवेश का सीधा असर दिख रहा है.
गौरतलब हो कि मोदी सरकार ने रियल एस्टेट, रेलवे, डिफेंस सहित तमाम सेक्टरो में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (FDI) में ढिलाई बरती है.