कांग्रेस पार्टी ने सरकारी एयरलाइंस एअर इंडिया के विनिवेश के मोदी सरकार के प्रस्ताव के प्रारूप पर सवाल खड़े किए हैं. कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अहमद पटेल ने कहा कि एअर इंडिया के निजीकरण की बात सुनकर मैं स्तब्ध हूं. इसमें किसी निजी कंपनी को फायदा पहुंचाने की बात स्पष्ट दिख रही है.
क्या आरोप लगाए अहमद पटेल ने?
अहमद पटेल ने कहा कि विनिवेश प्रस्ताव के अनुसार सरकार 76 फीसदी हिस्सेदारी बेचने जा रही है जबकि कंपनी के कर्ज का 52 फीसदी जिम्मा सरकार के पास ही रहेगा. कांग्रेस ने सवाल खड़े किए कि इस विनिवेश का प्रस्ताव ऐसा ही तैयार किया गया है. क्या ये किसी निजी कंपनी को लाभ पहुंचाने के लिए किया गया है?
Shocked to hear the terms of the Air India privatisation. Govt will sell 76% equity but will retain 52% of the company’s debt? Isn’t this a complete sell out designed to benefit certain private agents?
— Ahmed Patel (@ahmedpatel) March 28, 2018
क्या है सरकार का विनिवेश प्रस्ताव
गौरतलब है कि सरकार ने कर्ज में डूबी एअर इंडिया में रणनीतिक विनिवेश प्रक्रिया की योजना बुधवार को पेश की. इसके तहत सार्वजनिक क्षेत्र की विमानन कंपनी में 76 प्रतिशत तक हिस्सेदारी और निजी कंपनियों को प्रबंधन नियंत्रण सौंपी जाएगी. नागर विमानन मंत्रालय ने हिस्सेदारी बिक्री को लेकर प्रारंभिक सूचना ज्ञापन में विस्तार से इसकी जानकारी दी है. इसमें कहा गया है कि प्रस्तावित विनिवेश में लाभ कमा रही एअर इंडिया एक्सप्रेस तथा संयुक्त उद्यम कंपनी एअर इंडिया एसएटीएस एयरपोर्ट सर्विसेज प्राइवेट लि. शामिल होगी. एअर इंडिया एसएटीएस एयरपोर्ट सर्विसेज प्राइवेट लि. राष्ट्रीय विमानन कंपनी तथा सिंगापुर की एसएटीएस लि. की संयुक्त उद्यम है. दोनों की कंपनी में बराबर-बराबर हिस्सेदारी है.
सरकार इसमें 26 प्रतिशत हिस्सेदारी रखेगी. साथ ही सफल बोलीदाता को एयरलाइन में कम-से-कम तीन साल तक निवेश बनाये रखना होगा. विनिवेश प्रक्रिया की शुरुआत करते हुए विदेशी एयरलाइंस समेत विभिन्न इकाइयों से रूचि पत्र (ईओआई) आमंत्रित किये गये हैं. ईओआई जमा करने की अंतिम तिथि 14 मई है और पात्र बोलीदाताओं को सूचना 28 मई को दी जाएगी.
बोली में एक कंपनी या समूह शामिल हो सकती है. बोलीदाताओं के पास न्यूनतम नेटवर्थ 5,000 करोड़ रुपये होना चाहिए. साथ इकाइयों की श्रेणी के आधार पर कुछ शर्तों को पूरा करना जरूरी है.
ममता ने भी किया विरोध
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री और तृणमूल कांग्रेस की नेता ममता बनर्जी ने भी एअर इंडिया में अपनी हिस्सेदारी बेचने के केंद्र सरकार के कदम का कड़ा विरोध किया है. ममता ने कहा- मीडिया में इन खबरों को पढ़ कर बहुत दुख हुआ कि सरकार ने एयर इंडिया को बेचने की प्रक्रिया शुरू कर दी है. हम इसका कड़ा विरोध करते हैं और चाहते हैं कि यह फैसला तत्काल वापस लिया जाए.
I am sorry to read in the media about the Govt inviting expression of interest for selling Air India, the jewel of our nation. We strongly oppose this and want this order to be withdrawn immediately. This Govt must not be allowed to sell our country
— Mamata Banerjee (@MamataOfficial) March 28, 2018
ममता ने कहा- सरकार को चाहिए कि वह हमारे देश को बेचने की अनुमति कतई न दे. तृणमूल कांग्रेस के नेता डेरेक ओब्रायन ने एअर इंडिया में अपनी हिस्सेदारी बेचने के केंद्र सरकार के फैसले पर सवाल उठाते हुए कहा कि संसदीय पैनल अब भी इस मुद्दे की जांच कर रहा है.