विश्व रेटिंग एजेंसी मूडीज के GDP ग्रोथ रेट के अनुमान पर वित्त राज्यमंत्री ने कमेंट करते हुए कहा कि अर्थव्यव्यवस्था एक दिन में नहीं सुधरती. वित्त राज्यमंत्री जयंत सिन्हा ने कहा कि सरकार सुधारों के प्रति प्रतिबद्ध है, लेकिन सुधार प्रक्रिया एक दिन की कहानी नहीं है.
सिन्हा ने यहां संवाददाताओं से कहा कि जहां तक सुधारों का सवाल है हम उन्हें आगे बढ़ाएंगे और जहां तक हमारे प्रयासों का सवाल है वे निश्चित रूप से वृद्धि और रोजगार सृजन में दिखेंगे. दरअसल, मूडीज ने 2015 के लिए भारत GDP ग्रोथ रेट के अनुमान को 7.5 फीसदी घटाकर सात फीसदी कर दिया. इसके लिए मूडीज ने सुधारों में कमी को प्रमुख वजह बताया है.
एक दिन की कहानी नहीं
सिन्हा ने कहा कि सुधार एक दिन की कहानी नहीं हैं, लेकिन सतत प्रक्रिया हैं. इसके लिए उन्होंने सरकार की हाल की ‘इंद्रधनुष’ जैसी पहल का उल्लेख किया. सुधारों की कमी के बारे में पूछे जाने पर सिन्हा ने कहा कि संसद के मॉनसून सत्र में गतिरोध के लिए कांग्रेस को जिम्मेदार ठहराया.
उन्होंने कहा, ‘मुझे लगता है कि आपको संदेश संसद में हमारे कांग्रेस के सहयोगियों को देना चाहिए. शेष भारत यह उम्मीद कर रहा था कि राज्यसभा चले जिससे हम वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) विधेयक को पारित करा पाएं, जो सबके लिए अच्छा है.’
बैकों का NPA चरम पर पहुंचा
बैंकिंग प्रणाली में बढ़ती गैर निष्पादित आस्तियों (एनपीए) पर सिन्हा जवाब दिया कि एनपीए बढ़ रहा है. हालांकि, साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि यह अपने चरम पर पहुंच चुका है.