क्रिसमस और नए साल के बीच का समय दुनियाभर के शेयर बाजारों के लिए खास है. अमेरिका, यूरोप समेत एशिया के स्टॉक ट्रेडर्स मानते हैं कि शेयर बाजार में साल का यह कारोबारी हफ्ता निश्चित मुनाफा लेकर आता है. एक साल पहले इस हफ्ते में खरीदे हुए शेयर निवेशकों को क्रिसमेस और न्यू ईयर के बीच अच्छा रिटर्न देते है. लिहाजा, शेयर बाजार की भाषा में इस हफ्ते को सैंटा क्लॉज रैली की संज्ञा दी जाती है.
सैंटा क्लॉज रैली क्रिसमस थैंक्सगिविंग के बाद पहले कारोबारी दिन से शुरू होती है. यह रैली न्यू ईयर ईव के बाद दो कारोबारी दिन तक चलती है. इस दौरान निवेशक पिछले साल सैंटा क्लॉज रैली के दौरान खरीदे गए शेयर्स में मुनाफा वसूली करते हैं और अगले साल की रैली के लिए नया निवेश करते हैं.
अमेरिका में एडवांस क्रिसमस
अमेरिका के शेयर मार्केट में सैंटा रैली का खास इंतजार रहता है. इस हफ्ते में बड़े कारोबार के साथ-साथ निवेशक क्रिसमस इमोशन में खरीदारी करते हैं. लेकिन इस साल नवंबर में डोनाल्ड ट्रंप की जीत के बाद से ही लगातार अमेरिकी बाजार ऊपर चढ़ रहा है. लिहाजा, सवाल खड़ा हो रहा है कि क्या अमेरिकी बाजार में एडवांस क्रिसमस हो चुका है? अब इस सैंटा रैली में शेयरों में ज्यादा बड़े उछाल की संभावना कम है.
भारतीय बाजार में नहीं आ रहे सेन्टा?
भारतीय शेयर मार्केट के महत्वपूर्ण इंडेक्स सेंसेक्स और निफ्टी के आंकड़े दिखा रहे हैं कि इस साल उसे सैंटा क्लॉज रैली देखने को नहीं मिलेगी. बाजार के जानकारों का मानना है कि इसकी 4 बड़ी वजह हैं.
1. चीन में सुस्ती,
2. ब्रिटेन का यूरोपीय संघ से बाहर आना
3. देश में नोटबंदी का लागू होना
4. विदेशी निवेशकों का शेयर मार्केट से पलायन .
इन सभी कारणों से भारतीय शेयर बाजार लगातार दबाव में है. नवंबर और दिसंबर के दौरान सेसेक्स और निफ्टी में 5 फीसदी तक की गिरावट दर्ज की जा चुकी है. इन दो महीनों में बड़ी संख्या में विदेशी निवेशक अपने स्टॉक्स बेचकर क्रिसमस हॉलिडे पर जा चुके हैं. नवंबर में डोनाल्ड ट्रंप की जीत के बाद से भारतीय बाजार से लगातार विदेशी निवेशकों का पलायन हो रहा है. भारतीर शेयर मार्केट को अब इन निवेशकों से नए साल पर नए निवेश का इंतजार है.
अमेरिका में टैक्स का टाइम