अभी तक आपने सुना या पढ़ा होगा कि उसने क्रिप्टोकरेंसी में निवेश किया और देखते-देखते करोड़पति बन गया. कुछ दिन पहले तक केवल इसी तरह की खबरें आ रही थीं, मानो क्रिप्टोकरेंसी पैसे बनाने की एक मशीन है. लेकिन अब निवेशकों को हकीकत से सामना हो रहा है.
हालांकि अभी भी देश में ज्यादातर लोग क्रिप्टोकरेंसी को जोखिम भरी नजरों से देखते हैं, जबकि कुछ लोग इसे निवेश का अच्छा विकल्प माने रहे हैं. लेकिन अब इस डिजिटल करेंसी में लगातार गिरावट आ रही है, जिससे लोग घबराने लगे हैं. लोग समझ नहीं पा रहे हैं कि अब क्या करें, क्योंकि हर दिन क्रिप्टोकरेंसी में लगाया पैसा साफ हो रहा है.
दरअसल, अगर भारत की बात करें तो पिछले कुछ महीनों में लोगों का क्रिप्टोकरेंसी की तरफ झुकाव तेजी से बढ़ा है. लोगों को लग रहा था कि वे क्यों पीछे रह जाएं? इसलिए अधिकतर लोगों ने दूसरे के कहने में क्रिप्टोकरेंसी में पैसे लगाने शुरू कर दिए. अब वही पछता रहे हैं. क्योंकि उन्होंने इसके जोखिमों को गंभीरता से नहीं लिया और उत्साहित होकर पैसे लगा दिए.
2021 में आई थी जबरदस्त तेजी
Cryptocurrency के लिए साल 2021 बेहतरीन रहा था, Bitcoin नवंबर-2021 में 69,000 डॉलर पर पहुंच गया था. लेकिन उसके बाद से गिरावट जारी है. बिटक्वाइन 2021 की शुरुआत में 33,000 डॉलर के आसपास था. लेकिन अब अपने All Time High से 50 फीसदी गिर चुका है. Bitcoin की कीमत में इस भारी गिरावट से उसका मार्केट वैल्यू करीब 600 अरब डॉलर घट चुका है. इतना ही नहीं, बिटकॉइन की कीमत घटने से पूरे क्रिप्टोकरेंसी मार्केट की वैल्यू करीब 1 लाख करोड़ डॉलर तक घट चुकी है.
अब क्या करें?
बाजार के जानकार मानते हैं कि एक दिन तो ये होना ही था. लेकिन अब क्या किया जाए ये बड़ा सवाल है? ऐसे में अगर आपने Cryptocurrency में पैसे लगाए हैं तो फिर घबराकर फिलहाल हड़बड़ी में बेचकर न निकलें. लेकिन इस गिरावट में भी निवेश से बचें. क्योंकि ये तय नहीं है कि अब आगे क्रिप्टोकरेंसी में और गिरावट नहीं आएगी. जो पैसे निवेश किए गए हैं, उसे कुछ दिनों के लिए भूल जाएं.
वहीं अगर कोई ये मानकर चल रहा है कि यह गिरावट भी एक निवेश का मौका है, तो वे अपने निवेश पोर्टफोलियो का केवल 5 फीसदी Cryptocurrency में निवेश करें. यही नहीं, एक साथ सारा पैसा नहीं लगाएं, थोड़ा-थोड़ा करके पैसे लगाएं. और बिना जानकारी बिल्कुल निवेश न करें. वित्तीय सलाहकार की मदद जरूर लें.
जानिए इस गिरावट की वजह
पिछले कुछ दिनों में क्रिप्टोकरेंसी में गिरावट की सबसे बड़ी वजह फेड रिजर्व के रुख को लेकर अनिश्चितता की स्थिति और कई रेगुलेटरी फैसले हैं. इससे दुनियाभर में डिजिटल एसेट्स की तेज वृद्धि को लेकर आशंकाएं पैदा हो गई हैं. इसी बीच रूस के सेंट्रल बैंक ने बिटक्वाइन माइनिंग और क्रिप्टो ट्रेडिंग एक्टिविटी पर बैन को लेकर भी अपना प्रस्ताव रखा है. इससे भी इस इंडस्ट्री को गहरा झटका लगा है.