मोदी सरकार के बुलेट ट्रेन के सपने को साकार करने के लिए रेल मंत्रालय ने एक और कदम बढ़ा लिया है. दिल्ली-मुंबई, दिल्ली-कोलकाता व मुंबई-कोलकाता के बीच बुलेट ट्रेन चलाने के लिए फिजिबिलिटी रिपोर्ट तैयार करने का ठेका दे दिया गया है.
रेल मंत्रालय ने बुलेट ट्रेन के स्वर्णिम चतुर्भुज यानी डायमंड क्वाडिलेट्रल नेटवर्क के तहत तीन रेलवे मार्गों की फिजिबिलिटी स्टडी के लिए हरी झंडी दे दी है.
दिल्ली-मुंबई, दिल्ली-कोलकाता और मुंबई-कोलकाता के बीच बुलेट ट्रेन दौड़ाने के लिए अलग-अलग कंपनियों को जिम्मा सौंपा गया है. दिल्ली-मुंबई रूट की स्टडी चीन की कंपनी 'द थर्ड रेलवे सर्वे एंड डिजाइन इंस्टीट्यूट ग्रुप कॉरपोरेशन' और लाहमेयर इंटरनेशनल इंडिया प्राइवेट लिमिटेड करेगी.
मुंबई-चेन्नई बुलेट ट्रेन मार्ग का अध्ययन फ्रांस की कम्पनी सियस्ट्रा और अर्नेस्ट एंड यंग एलएलपी कंसॉर्टियम करेगी. दिल्ली-कोलकाता बुलेट ट्रेन के रेलमार्ग का अध्ययन स्पेन की कंम्पनी इनेको और मेसर्स टिपसा कंसॉर्टियम करेगी.
बुलेट ट्रेन के लिए किए जा रहे तीनों अध्ययनों में पर्यावरण पर पड़ने वाले असर का पता लगाया जाएगा. तकनीकी आकलन और ट्रैक अलायनमेंट के साथ आर्थिक नफे-नुकसान की भी स्टडी की जाएगी. साथ ही इन सभी का सोशल इंपैक्ट का भी आकलन किया जाएगा.
बुलेट ट्रेनों के काम को प्राथमिकता पर लेकर इन सभी बुलेट ट्रेन के रेल मार्गों का अध्ययन एक साल में पूरा कर लिए जाने की संभावना है. इसके अलावा दिल्ली-चेन्नई बुलेट ट्रेन रूट की स्टडी चीन को पहले ही सौंपी जा चुकी है.
वहीं मुंबई-अहमदाबाद की बात करें, तो उस रेल मार्ग पर बुलेट ट्रेन चलाने के लिए अध्ययन हो चुका है. जल्द ही इस रूट पर काम आगे बढ़ाने की तैयारी चल रही है. बाकी के बुलेट ट्रेन रूट में दिल्ली-अमृतसर की स्टडी आगामी दिसंबर तक आने की उम्मीद है.