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देश के शहरों और कस्बों में घटी बेरोजगारी दर

एक सरकारी अध्ययन के अनुसार 2009-10 में समाप्त 5 साल की अवधि के दौरान देश के कस्बों और शहरों में बेरोजगारी दर में कमी आई है. शहरों और कस्बों में कुल मिलाकर बेरोजगारी दर 3.8 प्रतिशत से घटकर 2.8 प्रतिशत रह गई है.

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आंकड़े बोलते हैं, बेरोजगारी दर घटी
आंकड़े बोलते हैं, बेरोजगारी दर घटी

एक सरकारी अध्ययन के अनुसार 2009-10 में समाप्त 5 साल की अवधि के दौरान देश के कस्बों और शहरों में बेरोजगारी दर में कमी आई है. शहरों और कस्बों में कुल मिलाकर बेरोजगारी दर 3.8 प्रतिशत से घटकर 2.8 प्रतिशत रह गई है.

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भारत के कस्बों और शहरों में रोजगार और बेरोजगारी की स्थिति पर राष्ट्रीय नमूना सर्वेक्षण संगठन (एनएसएसओ) ने खुलासा किया है कि आगरा, लुधियाना और मेरठ में बेरोजगारी दर तेजी से बढ़ी है.

इस रिपोर्ट में बताया गया है कि आगरा में बेरोजगारी दर वर्ष 2004-05 के 0.2 प्रतिशत से बढ़कर वर्ष 2009-10 में 5.5 प्रतिशत पर पहुंच गई.

लुधियाना में बेरोजगारी दर वर्ष 2004-05 के 1.2 प्रतिशत से बढ़कर वर्ष 2009-10 में 6.3 प्रतिशत पर पहुंच गई, जबकि मेरठ में यह 2.1 प्रतिशत से बढ़कर 3.9 प्रतिशत हो गई.

अधिकतम बेरोजगारी का औसत पटना और कानपुर में देखने को मिला, जहां यह दर वर्ष 2009-10 में क्रमश:13.2 प्रतिशत और 7.7 प्रतिशत रही.

वर्ष 2009-10 में बेरोजगारी की सर्वाधिक कम दर भोपाल में 0.1 प्रतिशत की दर्ज की गई, जिसके बाद सूरत में सर्वाधिक कम दर 0.6 प्रतिशत और इंदौर में 0.8 प्रतिशत दर्ज की गई.

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नगरों और शहरों में रोजगार की स्थिति में सुधार दिखाते हुए सर्वे में खुलासा किया गया है कि पांच वर्ष की अवधि के दौरान देश के शहरों और कस्बों में कुल मिलाकर बेरोजगारी दर 3.8 प्रतिशत से घटकर 2.8 प्रतिशत रह गई.

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