दिल्ली में कोरोना संक्रमण के चलते दूसरे गंभीर बीमारियों के मरीजों को इलाज नहीं मिल पा रहा है. इस वजह से कई मरीजों की मौत भी हुई है. इस मामले में दिल्ली हाई कोर्ट ने राजधानी के मेडिकल अफसरों को तलब किया है.
हाई कोर्ट ने 5 जून को केंद्र सरकार और दिल्ली सरकार से जुड़े मेडिकल अफसरों को कोर्ट में पेश होने के आदेश दिए हैं.
बिना इलाज मर रहे हैं मरीज
इस बाबत दिल्ली हाई कोर्ट में एक याचिका दायर की गई थी. याचिका में कहा गया है दिल्ली में मेडिकल सर्विसेज कोविड-19 के बाद से पूरी तरह से ध्वस्त हो गई है, जिसके चलते बाकी गंभीर बीमारियों के मरीजों को इलाज नहीं मिल पा रहा है. इसी वजह से राजधानी में कई मरीजों को अस्पताल से बाहर ही बिना इलाज के दम तोड़ना पड़ा है.
हाई कोर्ट से दखल देने की मांग
याचिका में कोर्ट से गुहार लगाई गई है कि वो इस पूरे मामले में हस्तक्षेप करके यह निगरानी रखे कि बाकी और बीमारियों से ग्रसित मरीजों की जान मेडिकल सुविधाओं के अभाव में ना जाए.
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मंगलवार की सुनवाई के दौरान कोर्ट ने भी माना कि कोविड-19 के चलते बाकी और मरीजों को दिल्ली के अस्पतालों में इलाज के लिए परेशान होना पड़ रहा है. याचिकाकर्ता ने कोर्ट को बताया कि भले ही कागजों में अस्पताल यह दिखा रहे हों कि कोविड से इतर बाकी मरीजों के लिए भी इलाज का प्रबंध उन्होंने किया हुआ है, लेकिन जमीनी सच्चाई इससे एकदम अलग है.
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5 जून को अफसरों की पेशी
इसीलिए हाई कोर्ट ने वरिष्ठ चिकित्सा अधिकारियों को 5 जून को कोर्ट में पेश होने के आदेश दिए हैं. कोर्ट मेडिकल अफसरों के माध्यम से अस्पतालों से जुड़ी सच्चाई और वहां की जमीनी परेशानियों से अवगत होना चाहता है.