
पंजाबी सिंगर सिद्धू मूसेवाला की 29 मई को गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. मंगलवार को उनका अंतिम संस्कार कर दिया गया. हैरान करने वाली बात है कि मूसेवाला की हत्या की जिम्मेदारी लेने वाले गैंगस्टर गोल्डी बरार का राजस्थान से भी पुराना कनेक्शन है. दरअसल, कनाडा में बैठा गैंगस्टर बरार राजस्थान की लेडी डॉन अनुराधा का क्राइम पार्टनर रह चुका है. यह वही गोल्डी बरार है, जो कुख्यात गैंगस्टर लॉरेंस से जुड़ा है.
लेडी डॉन का कनेक्शन
हाल ही में जुर्म की दुनिया का कुख्यात गैंगस्टर काला जठेड़ी की गिरफ्तारी के साथ एक लेडी डॉन भी पकड़ी गई थे. इस लेडी डॉन का नाम है अनुराधा. अपराध की दुनिया में ये डॉन मैडम मिंज के नाम से मशहूर है. बचपन में साधारण सी दिखने वाली ये लेडी डॉन पढ़ाई में अव्वल थी. लेकिन कम उम्र में ही अनुराधा के सिर से उसकी मां का साया उठ गया. इससे वो मजबूत बनती चली गई. पिता मजदूरी करते थे लेकिन इसने पढ़ाई की. बीसीए किया और फिर अपनी मर्जी से शादी की.
बिजनेस किया, कमाई हुई फिर जुर्म की दुनिया में रखा कदम
शादी दीपक मिंज से हुए. दोनों ने ख़ुद का बिजनेस शुरू किया. राजस्थान के सीकर में शेयर ट्रेडिंग का उनका बिजनेस चलने लगा. शुरू में लाखों रुपये लगाए. काफी फायदा भी हुआ. लेकिन एक वक़्त आया जब इनका बिजनेस चौपट होने लगा. और फिर ये करोड़ों रुपये कर्ज में डूब गए. और फिर यहीं से शुरू हुई जुर्म की दुनिया. हालांकि, अनुराधा के जुर्म की दुनिया में आने के बाद पति अलग हो गया था.
हिस्ट्रीशीटर बलबीर बानूड़ा की एंट्री
शेयर में करोड़ों रुपये का कर्ज होने की वजह से उसे लौटाने का दबाव बढ़ता जा रहा था. लेकिन इसके पास पैसे नहीं थे. ऐसे में उसका संपर्क हिस्ट्रीशीटर बलबीर बानूड़ा से हुआ. लेकिन ये पैसे देने में असमर्थ था. इसलिए बलबीर ने कुख्यात अपराधी आनंदपाल सिंह से अनुराधा की मुलाकात कराई.
अब आनंद पाल देसी टाइप का अपराधी था. लेकिन अनुराधा ने उसे अंग्रेजी बोलना सिखाया. धीरे-धीरे आनंद को अनुराधा का स्टाइल अच्छा लगा तो वो भी स्टाइलिश बनने लगा. अब अनुराध ही आनंद की क्राइम प्लान बनाने लगी थी. अनुराधा ने आनंद को अंग्रेजी सिखाई तो बदले में उससे AK-47 जैसे आधुनिक हथियार चलाने की ट्रेनिंग ली. कुछ समय बाद ही अनुराधा एके-47 चलाने में ट्रेंड हो गई.
गैंग ऑपरेट करने की शुरुआत
अब ये आनंद पाल के गैंग को मिलकर ऑपरेट करने लगी. किसे और कब अगवा करना है. कैसे फिरौती मांगनी है. सबकुछ यही प्लान करने लगी. यही वजह है कि सीकर में एक व्यापारी के अपहरण के मामले में पुलिस ने अनुराधा पर 5 हजार रुपये का इनाम घोषित किया था. और अब अनुराध मैडम मिंज के नाम से जुर्म की दुनिया में नई पहचान बना ली.
लेडी डॉन का पुराना रिकॉर्ड
27 जून 2006 को बहुचर्चित जीवणराम गोदारा हत्याकांड घटना के मुख्य गवाह प्रमोद चौधरी के भाई इंद्रचंद को अगवा करने में इसी लेडी डॉन का हाथ माना जाता है. गैंगस्टर आनंदपाल को पुलिस ने जब एनकाउंटर में मार गिराया तो वो खुद ही गैंग चलाने लगी थी. दिल्ली पुलिस ने जब इसे गिरफ्तार किया तो लेडी डॉन पर 10 हजार रुपये का इनाम घोषित था.
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