आसाराम बापू को जोधपुर पुलिस ने 30 अगस्त तक की मोहलत दी थी. चूंकि मोहलत का आखिरी दिन था लिहाजा पुलिस को यकीन था कि गिरफ्तारी को टालने के लिए आसाराम जरूर आएंगे. लिहाजा उनके इंतजार में जोधपुर के आला पुलिस अफसर से लेकर नीचे के जवान तक सुबह से ड्यूटी बजाते रहे. कि पता नहीं कब आसाराम बापू दर्शन दे दें. पर उन्हें ना आना था और ना ही वो आए.
सुबह से ही जोधपुर में सरगर्मी थी. क्या पुलिस और क्या मीडिया हर एक की आंखों में इंतजार था. इंतजार आसाराम बापू का. हर कोई सुबह 7 बजे से बापू की ही राह तक रहा था.
10 बजते-बजते जोधपुर के पुलिस कमिश्नर बीजू जॉर्ज जोजेफ और डीसीपी अजय लांबा पुलिस हेडक्वार्टर पहंच गए. क्या पता कब आसाराम पधार जाएं और कोई बड़ा अफसर ना मिले वापस हो लें. लिहाजा पुलिस अपनी तरफ से कोई कोताही नहीं छोड़ना चाहती थी.
इसके बाद घड़ी की सूई खिसकती रही. पर आसाराम की कोई खबर नहीं थी. सुबह से दोपहर हो गई. अटकलों का बाजार गर्म था. आसाराम के जोधपुर आने या ना आने पर सस्पेंस अभी भी बरकरार था. और इसी सस्पेंस के बीच दोपहर 12 बजते-बजते ये खबर आई कि बापू शुक्रवार को जोधपुर नहीं आएंगे. क्योंकि भोपाल में उनके समधी की मौत की वजह से उनकी तबीयत बिगड़ गई है.
इसके बाद दोपहर 3 बजे अचानक ये खबर आई कि बापू अपनी अग्रिम जमानत के लिए अपने वकीलों से बात कर रहे हैं. 4 बजते-बजते उनके वकील ने अहमदाबाद कोर्ट में उनकी अग्रिम जमानत की अर्ज़ी भी लगा दी. और 5 बजते-बजते अर्जी खारिज होने के डर से अर्जी वापस भी ले ली.
फिर शाम 6 बजे अचानक खबर आई कि आसाराम दिल्ली आने के के लिए भोपाल हवाईअड्डे पर पहुंच गए हैं. मीडिया भी हवाई अड्डे डा पहुंची. समर्थक तो खैर थे ही वहां. इसके बाद ना जाने क्यों कौसे अचानक आसाराम बापू के समर्थकों ने मीडियाकर्मियों से हाथापाई शुरू कर दी. माहौल हंगामाखेज हो चुका था. और इसी हंगामे ने आसाराम की फ्लाइट मिस करा दी. इससे आसाराम बापू को शुक्रवार रात 9 बजे तक जोधपुर ना पहुंचने का एक और बहाना मिल गया.
जोधपुर पुलिस के मुताबिक आसाराम के खिलाफ पीड़ित लड़की ने जो भी इल्जाम लगाए हैं वो तमाम इल्जाम जांच के दौरान सही पाए गए हैं. अब इन्हीं इल्जामों के बारे में एक-एक कर आसाराम बापू से उनका जवाब पूछा जाएगा और अगर पुलिस को लगा कि आसाराम अपने बचाव में सही जवाब नहीं दे पा रहे तो उन्हें गिरफ्तार कर लिया जाएगा.
जोधपुर पुलिस आसाराम के खिलाफ यौन उत्पीड़न मामले की जांच कर रही है और जांच टीम का दावा है कि उसके पास सफेद चोले वाले इस आध्यात्मिक गुरु पर कार्रवाई के पुख्ता सबूत हैं और पुलिस की टीमें भी तैयार हैं.
पुलिस सूत्रों ने यौन उत्पीड़न मामले में एक बड़ा खुलासा भी किया है. पुलिस ने जांच में पाया है कि जिस नाबालिग लड़की ने आसाराम के खिलाफ यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया है उसे किसी भी तरह की कोई मानसिक बीमारी नहीं थी. लड़की को फंसाने के लिए छिंदवाड़ा होस्टल की वॉर्डन और आसाराम के दो सेवादारों ने मिलकर साजिश रची और बीमारी का बहाना बनाकर नाबालिग को आसाराम के आश्रम में जाने के लिए मजबूर किया. आरोपों के कठघरे में आसाराम से भी सवाल है कि उन्होंने जोधपुर के करीब मथानिया के अपने आश्रम से कुछ दूर नाबालिग लड़की को दो दिनों तक क्यों रखा.
उधर यूपी के शाहजहांपुर में नाबालिग लड़की के पिता ने चेतावनी दी है कि अगर आसाराम बापू की गिरफ्तारी नहीं होती है तो वे शनिवार से अन्न-जल छोड़ भूख हड़ताल पर बैठ जाएंगे.
आसाराम की ओर बढ़ते कानूनी शिकंजे को देखते हुए पहले उनका बचाव करने वाली सियासी जमात भी उनसे दूर खिसकती जा रही है. आसाराम एक, इल्ज़ाम हज़ार. आसाराम के सफेद चोले पर कलंक का कोई एक धब्बा होता, तो भी गनीमत थी. लेकिन अब तो इल्जामों के चलते पूरा का पूरा सफेद चोला ही काला दिखने लगा है. और इस कालिख में यौन शोषण, वशीकरण, सम्मोहन, अपहरण... सारे गुनाह शामिल हैं.