गीतांजलि पर 3 नहीं बल्कि 6 गोलियां चलाईं गईं थी. ये कहना है गुड़गांव पुलिस का और इस नए खुलासे के बाद गुड़गांव के सीजेएम रवनीत गर्ग की पत्नी गीतांजलि की मर्डर मिस्ट्री और भी गहरा गई है. गीतांजलि के कत्ल को चार दिन बीत चुके हैं. लेकिन पुलिस अभी भी कातिल के सुराग ढूंढ़ रही है. और इसीलिए रविवार सुबह पुलिस ने उसी पार्क में ठीक उसी जगह गीतांजलि के मर्डर सीन का रिकन्स्ट्रकशन किया जहां 17 जुलाई की शाम गीतांजलि की लाश मिली थी.
चूंकि गीतांजलि का कत्ल पुलिस लाइंस के इसी पार्क में हुआ था और मकतूल गुड़गांव के सीजेएम की पत्नी थी लिहाजा पुलिस भी फौरन हरकत में आई और कत्ल की इस गुत्थी को सुलझाने के लिए हर एंगल से इस मामले की जांच कर रही है.
कत्ल के इस मामले में सबसे बड़ा खुलासा ये हुआ कि कातिल ने गीतांजलि पर तीन नहीं बल्कि 6 गोलियां चलाईं थी. पुलिस लाइंस में अमूमन हर वक्त सन्नाटे का माहौल रहता है. पर कमाल ये है कि किसी को भी गोली चलने की कोई आवाज सुनाई नहीं दी. यहां तक कि पार्क में टहल रहे लोगों तक को नहीं.
पुलिस इस पहलू पर भी जांच कर रही है कि क्या गीतांजलि का कत्ल कहीं और किया गया? और क्या कत्ल के बाद लाश लाकर इस जगह झाड़ी में डाली गई? पुलिस सूत्रों की मानें तो पुलिस लाइंस के अंदर इस तरह पार्क में किसी पर तीन फायर करना इतना आसान नहीं है. क्योंकि देखने और पकड़े जाने का पूरा खतरा है. लिहाजा इस संभावना से इंकार नहीं किया जा सकता कि कत्ल कहीं और हुआ हो और लाश बाद में लाकर यहां रख दी गई. इसके अलावा पुलिस इस बात की भी तफ्तीश कर रही है कि कातिल ने मौके पर पिस्तौल क्यों छोड़ दी. पुलिस को अभी तक गोलियों के खोखे नहीं मिले हैं पुलिस उनकी भी तलाश कर रही है.
इतना ही नहीं तीन गोलियों के अलावा गीतांजलि के सिर पर गहरे चोट के निशान भी मिले हैं. यानी कत्ल से पहले गीतांजलि के साथ हाथा-पाई भी हुई. फिर डंडे या किसी दूसरी चीज से उसके सिर पर वार किया गया. जाहिर है पुलिस लाइंस में घुस कर इस तरह सरेआम पार्क में एक सीजेएम की पत्नी का कत्ल वही कर सकता है जो पुलिस लाइंस के अंदर के माहौल से अच्छी तरह वाकिफ हो. अगर उसने कत्ल पार्क में किया तब भी और लाश लाकर पार्क में फेंकी तब भी. फिलहाल पुलिस ने सीजीएम की पिस्टल को सीएफएसएल लैब भेज दिया है और रिपोर्ट का इंतजार कर रही है.
फिलहाल गीतांजलि की मर्डर मिस्ट्री कई अनसुलझे सवालों में लिपटी है. सवाल कईं हैं और पुलिस इन्हीं सवालों के जवाब तलाशने में लगी है. और अपनी इसी कोशिश में पुलिस सीजेएम रवनीत गर्ग समेत उनके रिश्तेदारों से पूछताछ की. और इस पूछताछ के बाद पुलिस ने रवनीत गर्ग के दो लैपटॉप भी जब्त कर लिए.
सीजीएम रवनीत गर्ग की पत्नी गीतांजलि के कत्ल से जुड़े ये वो सवाल हैं जिन्हें गुड़गांव पुलिस पिछले 4 दिन से सुलझाने की कोशिश में लगी है. लेकिन पुलिस को अभी तक कातिल का कोई भी सुराग नहीं मिला है. इस मामले में पुलिस सीजीएम रनवीत गर्ग से शनिवार को करीब साढ़े चार घंटे तक पूछताछ कर चुकी है.
पूछताछ के दौरान गीतांजलि के घरवाले भी मौजूद थे. गुड़गांव पुलिस की एसआईटी टीम ने जज रवनीत गर्ग से गुड़गांव के सिविल लाईन में उनके सरकारी आवास कोठी नम्बर 10 में उनके समेत उनके के रिश्तेदारों से भी पूछताछ की. पूछताछ के बाद पुलिस ने रवनीत गर्ग के 2 लैपटॉप उनके रिवाल्वर का केस और एक बॉक्स को जब्त कर लिया. पूछताछ के दौरान गुड़गांव पुलिस ने सीजीएम रवनीत गर्ग से गीतांजलि की मौत से जुड़े कई सवाल किए.
केस में कई अनसुलझे सवाल हैं जैसे कत्ल के वक्त यानी 5 से सात बजे के बीच में शाम को वो कहां थे., किसके साथ थे? इस दौरान उन्होंने फोन पर किससे किससे बात की? वो अपना रिवाल्वर कहां रखते थे? क्या गीतांजिल रोज रिवाल्वर लेकर टहलने जाती थी? बेटियों के होने से क्या वो नाखुश थे? क्या आपने कभी गीतांजलि से बेटे की इच्छा जाहिर की थी? क्या दोनों में क्या अकसर अनबन रहती थी? वो दो लोग कौन हैं जिनपर जज ने कत्ल का शक जाहिर किया है. उन दोनों से रवनीत या गीतांजलि की क्या दुश्मनी हो सकती है? क्या गीतांजिल हर रोज अपना मोबाइल लेकर नहीं जाती थी? कत्ल के दिन गीतांजलि का मोबाइल कहां था? रिवाल्वर हमेशा लोडेड रखते थे या फिर कारतूस घर में अलग रखते थे? क्या गीतांजलि ने कभी किसी से दुश्मनी का जिक्र किया था? अदालत का कोई ऐसा फैसला जिसके चलते रंजिशन किसी ने उनकी पत्नी गीतांजलि का कत्ल कर दिया?
उधर गीतांजलि के घरवालों का आरोप है कि रवनीत की एक रिश्तेदार हिना ने उनको बताया था कि हिना ने गीतांजलि वारदात वाले दिन करीब 4 बजे खाना खाया था लेकिन पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में गीतांजली के पेट से खाना नहीं मिला था. यही नहीं गीतांजलि की मां ने जब 17 जुलाई को शाम सात बजे फोन किया तो फोन हिना ने उठाया था और हिना ने उनसे कहा था की गीतांजलि अभी कुछ देर पहले मार्किट गई है और जैसे ही वो वापस आएगी तो वो गीतांजलि की बात उनसे करा देगी.
पुलिस अब गीतांजलि और रवनीत गर्ग दोनों के फोन कॉल्स डिटेल की जांच कर रही है. मुमकिन है कि फोन कॉल में ही छिपा हो गीतांजलि की मौत का राज. हालांकि गीजांतलि के परिवारवाले मान रहे हैं कि गीतांजलि की मौत के पीछे पति रवनीत का हाथ है लेकिन जज का परिवार सिरे से इन आरोपों को खारिज कर रहा है.
गीतांजलि के परिवार ने 19 जुलाई को रवनीत गर्ग के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई थी जिसमे उन्होंने आरोप लगाया है कि जज को बेटे की चाहत थी लेकिन 2 बेटी होने की वजह से उनका गीतांजलि से रिश्ता तल्ख हो गया था. लेकिन रवनीत का परिवार सीधे सीधे इसे नकार रहा है
गीतांजलि और रवनीत गर्ग की शादी 2007 में हुई थी लेकिन गीतांजलि के परिवार का इल्जाम ये भी है कि बेटी को दहेज के लिए सताया जा रहा था. जज के परिवार ने इस आरोप का भी खंडन किया है.
चूंकि मामला जज और उनकी पत्नी से जुड़ा है और फिलहाल सुर्खियों में है लिहाजा पुलिस हर एंगल से इसकी जांच कर रही है. उम्मीद है कि जल्द ही गीतांजलि की मौत से जुड़ी एक एक गुत्थी के तार खुलने लगेंगे.
कुरुक्षेत्र यूनिवर्सिटी की एमबीए टॉपर गीतांजलि महिलाओं के हक की आवाज अपने अंदाज में उठाती थी. कविता के जरिए. तब गीतांजलि को क्या पता था कि तीन महीने में वो उसी ज्यादती का शिकार होगी, जिसके खिलाफ वो संघर्ष की आवाज उठा रही थी. ये वही गीतांजलि है- गुड़गांव के चीफ ज्युडिशियल मजिस्ट्रेट रवनीत गर्ग की पत्नी, जिसका 17 जुलाई का कत्ल हो गया था. नारी के हक और वजूद का सवाल उठाने वाली गीतांजलि की मौत सवालों के कफन में लिपटी है. गीतांजलि की हत्या पूरे परिवार के लिए जिंदगी भर का नासूर बन गई है.
अब कत्ल का ये मामला थाने की दहलीज से निकलकर कोर्ट की चौखट पर जाने वाला है. इंसाफ की देवी ये तय करेंगी कि आधी आबादी को ताकतवर बनाने के दौर में किसी गीतांजलि का कत्ल किसने किया और क्यों.