Seema Haider - Sachin Love Story: इस कहानी में एक हेड है, एक टेल. इस दास्तान में एक माशूक है, एक जासूस. इस स्टोरी में एक मुहब्बत है और एक साज़िश. कुल मिलाकर देखें तो कहानी बिल्कुल सीधी है. और समझें तो बेहद उलझी हुई. और इस उलझन का नाम है सीमा हैदर या फिर यूं कहें कि सीमा ठाकुर. बेहद उलझी हुई इस उलझन को सुलझाने के लिए नोएडा पुलिस को भारत की सीमा लांघ कर पाकिस्तान, शारजाह होते हुए नेपाल तक को खंगालना जरूरी था.
इश्क या जासूसी?
जाहिर है किसी लोकल पुलिस के लिए ये मुमकिन नहीं था. बस इसीलिए नोएडा पुलिस ने लखनऊ हेडक्वार्टर को एक सिफारिश भेजी. सिफारिश ये कि सीमा का सच पता करने के लिए किसी ऐसी एजेंसी को जांच सौंपी जाए, जो सीमा लांघ कर सच्चाई का पता लगा सके. और बस इसीलिए आतंक और आतंकवादियों की जांच करने वाली यूपी एटीएस यानी एंटी टेररिस्ट स्क्वायड को सीमा और सचिन की मुहब्बत की जांच का जिम्मा सौंप दिया गया. जी हां, सीमा सचमुच मुहब्बत की मारी है या फिर इश्क का नकाब पहने पाकिस्तानी जासूस, इसकी जांच अब यूपी एटीएस करेगी. इस सिलसिले में सोमवार को एटीएस की टीम ने करीब 6 घंटे तक सीमा और सचिन से पूछताछ भी की है.
क्या है इस प्रेम कहानी का सच?
जांच की जिम्मेदारी मिलने के फौरन बाद यूपी एटीएस की टीम ने सोमवार को पाकिस्तान से भागकर भारत आई सीमा हैदर, उसके प्रेमी सचिन और सचिन के पिता से लंबी पूछताछ की है. यूपी एटीएस सीमा और सचिन की इस प्रेमी कहानी का सच सामने लाना चाहती है. एटीएस इस मामले के हर पहलू की छानबीन में जुट गई है. एटीएस की टीम इस मामले में कोई कमी नहीं छोड़ना चाहती, लिहाजा जांच का दायरा भी बढ़ाया जा सकता है.
नोएडा पुलिस की मांग के बाद शासन ने इस मामले की छानबीन यूपी एटीएस के हवाले की है. इस दौरान एटीएस को कुछ खास बातें पता लगानी हैं. मसलन-
जांच के लिए नेपाल और शारजाह जा सकती है टीम
ऐसे तमाम सवाल हैं, जिनके जवाब यूपी एटीएस की टीम को तलाश करने है. आजतक को मिली जानकारी के मुताबिक इसी साल मार्च में पहली बार सीमा और सचिन की काठमांडू में मुलाकात और काठमांडू के उस होटल की जानकारी नोएडा पुलिस पहले ही हासिल कर चुकी है. जिस मंदिर में दोनों ने शादी की थी, उसकी जानकारी भी नोएडा पुलिस के पास है. लेकिन ये सारी जानकारी नोएडा पुलिस ने काठमांडू में अपने सोर्सेज से ही हासिल की है. अब चूंकि मामले की जांच एटीएस को सौंप दी गई है, लिहाजा इस बात की उम्मीद है कि एटीएस की एक टीम खुद नेपाल जाएगी. एटीएस की टीम शारजाह एयरपोर्ट के इमीग्रेशन डिपार्टमेंट से भी जरूरी जानकारी हासिल करेगी. हालांकि सीमा और उसके बच्चों के जो पासपोर्ट मिले हैं, उसमें पांचों के पासपोर्ट पर यूएई और नेपाल के वीजा मौजूद हैं. पासपोर्ट पर यूएई और काठमांडू के इमीग्रेशन की मुहर भी है.
यूपी एटीएस की नोएडा यूनिट ही करेगी जांच
यूपी एटीएस के सूत्रों के मुताबिक उनके लिए सबसे जरूरी है, सीमा के मोबाइल में झांक कर उसके सच को बाहर लाना. खास कर तमाम व्हाट्सएप कॉल और चैट्स को परखना. आजतक को मिली जानकारी के मुताबिक फिलहाल सीमा और सचिन से यूपी एटीएस की नोएडा यूनिट ही पूछताछ करेगी. अगर जरूरत पड़ी तो फिर लखनऊ यूनिट की मदद ली जा सकती है.
अनजान लोगों से दूर रहेगी सीमा
उधर, सीमा अभी भी ग्रेटर नोएडा के रब्बूपुरा इलाके में अपने बच्चों के साथ सचिन के घर पर रह रही है. हालांकि अब उसके घर पर भीड़ कम हो गई है. खुद सचिन के घरवाले अब सीमा को हर एक से मिलने नहीं दे रहे हैं. वजह ये है कि खुद यूपी पुलिस ने ये अंदेशा जताया था कि भारत में भी सीमा की जान को खतरा हो सकता है. इस सिलसिले में आजतक पर खबर दिखाए जाने के बाद से ही सीमा के घरवालों ने सीमा को अजनबी भीड़ से दूर रखने का फैसला किया था.
पुलिस के पास हैं सीमा और बच्चों के पासपोर्ट
सीमा फिलहाल जमानत पर है और जमानत की शर्त में ये भी है कि वो सचिन के इस घर को छोड़ कर फिलहाल कहीं और नहीं जा सकती है. वैसे भी उसका और उसके बच्चों का पासपोर्ट यूपी पुलिस के पास है. सचिन का पासपोर्ट तो अब तक बना ही नहीं है. यूपी एटीएस के एक अफसर ने आजतक को बताया कि वो अपनी पूरी जांच रिपोर्ट लखनऊ पुलिस मुख्यालय को देंगे इसके बाद वो रिपोर्ट दिल्ली में गृह मंत्रालय को भेजी जाएगी. फिर उसी रिपोर्ट के आधार पर सीमा के किस्मत का फैसला होगा. यानी फिलहाल तो सीमा भारत में अपने सचिन के पास ही रहेगी.