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Sonali Phogat Murder Case: डांस... ड्रग्स... डेथ... पुलिस की जांच रिपोर्ट में दर्ज है सोनाली की मौत का ये फसाना

गोवा में सोनाली फोगाट के साथ क्या-क्या हुआ? कैसे हुआ? किस वक्त हुआ? किसने किया? कौन उसके साथ मौजूद था? इसी तरह के तमाम सवालों के जवाब पुलिस की जांच में उजागर हो रहे हैं.

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सोनाली फोगाट की मौत के बाद पुलिस ने हत्या का मामला दर्ज कर लिया था
सोनाली फोगाट की मौत के बाद पुलिस ने हत्या का मामला दर्ज कर लिया था

टिकटॉक स्टार और बीजेपी नेता सोनाली फोगाट (Sonali Phogat) की मौत का मामला एक पहेली की तरह उलझा हुआ है. जिसकी जांच गोवा पुलिस कर रही है. पुलिस की जांच रिपोर्ट के मुताबिक, 22 अगस्त 2022 की रात से लेकर 23 अगस्त की सुबह तक कुल पांच घंटों में सोनाली फोगाट की तबीयत तीन बार बिगड़ी थी. एक बार तो वो तीन घंटे तक बाथरूम में ही सोती रहीं. और जब सोनाली को अस्पताल ले जाया गया, तब तक वो दम तोड़ चुकी थीं. 22 अगस्त की दोपहर गोवा पहुंचने से लेकर 23 अगस्त की सुबह 9 बजे तक क्या कुछ हुआ? हम बता रहे हैं उसकी पूरी कहानी. 

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गोवा में सोनाली फोगाट के साथ क्या-क्या हुआ? कैसे हुआ? किस वक्त हुआ? किसने किया? कौन उसके साथ मौजूद था? इसी तरह के तमाम सवालों के जवाब पुलिस जांच में तलाश रही है. इसी कोशिश में अंजुना पुलिस स्टेशन के इंस्पेक्टर और इनवेस्टिगेटिंग अफसर प्रशल पीएन देसाई की जांच रिपोर्ट में दर्ज अहम जानकारी 'आज तक' के हाथ लगी है. ये पूरी कहानी उसी जांच रिपोर्ट पर आधारित है.

23 अगस्त 2022, सुबह 9 बजकर 22 मिनट

गोवा के सेंट एंथोनी अस्पताल के मेडिकल अफसर ने पुलिस को फोन पर बताया कि एक महिला अस्पताल के कैजुअल्टी वार्ड में मुर्दा लाई गई है. फोन पर सूचना मिलते ही अंजुना पुलिस स्टेशन की टीम तुरंत एंथोनी अस्पताल पहुंचती है. अस्पताल पहुंचने के बाद बताया जाता है कि सोनाली फोगाट नाम की महिला को कैजुअल्टी वार्ड में मुर्दा लाया गया था. सोनाली को अंजुना के ही लियोनी रिसॉर्ट से सुधीर पाल और सुखविंदर सिंह नाम के दो शख्स लेकर आए थे.

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तीनों ने ली थी MDMA ड्रग्स

इस सूचना के बाद सुधीर और सुखविंदर से जब पूछताछ की गई, तो उन्होंने बताया कि सोनाली फोगाट के साथ वो दोनों 22 अगस्त को गुरुग्राम से गोवा पहुंचे थे फ्लाइट से गोवा पहुंचने के बाद तीनों ने बारदेज गोवा में मौजूद होटल गैंड लियोनी रिसॉर्ट में चेकइन किया. चेकइन के बाद सुधीर और सुखविंदर ने इसी रिसॉर्ट के रूम ब्वॉय से एमडीएमए नाम की ड्रग्स मंगवाई. इसके लिए सुधीर ने पांच हजार रुपये, जबकि सुखविंदर ने 7 हजार रुपये रूम ब्वॉय को दिए. ड्रग्स आने के बाद सोनाली, सुधीर और सुखविंदर ने कमरे में ही एमडीएमए ड्रग्स ली. 

रात में पहुंचे थे कर्लीज बीच

23 अगस्त की रात साढे ग्यारह बजे ही फिर तीनों ग्रैंड लियोनी रिसॉर्ट से कर्लीज बीच शैक पहुंचे. सुधीर ने ये बताया कि उसने एमडीएमए ड्रग्स का कुछ हिस्सा पानी की एक खाली बोतल में डाल दिया. जबकि बाकी बचा हुआ हिस्सा उसने अपनी पैंट की जेब में रखा. कर्लीज क्लब पहुंचने के बाद सुधीर ने एमडीएमए वाली खाली बोतल में कुछ पानी मिला दिया. क्लब पहुंचने के बाद तीनों ने पानी की उसी बोतल से एमडीएमए नाम की ड्रग्स पी. ड्रग्स पीने के बाद तीनों क्लब में डांस फ्लोर पर डांस करने लगे. 

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आधी रात में बिगड़ी सोनाली की हालत

अब देर रात के करीब ढाई बज रहे थे. सोनाली की तबीयत थोडी खराब होने लगती है. सोनाली सुधीर को ये बात बताती है. इसके बाद सुधीर उसे डांस फ्लोर से कुछ ही दूरी पर लेडीज टॉयलेट में ले जाता है. लेडीज टॉयलेट में सोनाली उल्टियां करती है. इसके बाद बाहर आती है. अब उसकी तबीयत शायद थोड़ी बेहतर हो चुकी थी. इसके बाद फिर तीनों डांस फ्लोर पर डांस करने लगते हैं. 

सोनाली की हालत देख घबराया था सुधीर

मगर करीब दो घंटे बाद सुबह करीब साढे चार बजे सोनाली की तबीयत फिर से बिगड़ने लगती है. सोनाली सुधीर को बाथरूम ले जाने के लिए कहती है. सुधीर अब दोबारा उसे लेडीज टॉयलेट ले जाता है. इस बार सोनाली सुधीर से कहती है कि वो कुछ देर टॉयलेट में ही बैठेगी, क्योंकि उससे चला नहीं जा रहा है और नींद सी आ रही है. सुधीर शुरुआत में कुछ देर तक लेडीज टॉयलेट के बाहर ही खड़ा था. लेकिन अब तक उसे अहसास हो चुका था कि सोनाली ड्रग्स की ओवरडेज ले चुकी है. तब पहली बार वो घबराया. इसके बाद उसने पानी की उसी खाली बोतल जिसमें एमडीएमए मिला कर लाया था, और जिसे वो तीनों पी चुके थे, उसी खाली बोतल में उसने जेब से एमडीएमए की बाकी खुराक निकाल कर डाल दी.

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फ्लश के वॉटर टैंक में छुपाई थी ड्रग्स

अब बोतल के अंदर डग्स थी. उधर, सोनाली की तबीयत ठीक नहीं थी. लिहाजा सबसे पहले सुधीर ने ड्रग्स को ठिकाने लगाने की सोची. इसके बाद वो कर्लीज क्लब की पहली मंजिल पर मौजूद लेडीज टॉयलेट में दाखिल होता है. सोनाली उसी में थी. ड्रग्स वाली बोतल को वो टॉयलेट के फ्लश के पानी के टैंक में छुपा देता है. 

क्लब से रिसॉर्ट से पहुंचे थे तीनों

सुबह के 6 बज चुके थे. सोनाली को टॉयलेट में बैठे या सोए करीब डेढ घंटे हो चुके थे. लिहाजा अब सुखविंदर और सुधीर क्लब के दो मुलाजिमों की मदद से सोनाली को क्लब के बाहर पार्किंग एरिया तक ले जाते हैं. इसके बाद तीनों गाडी में बैठते हैं और लियोनी रिसॉर्ट के लिए निकल जाते हैं. रिसॉर्ट पहुंचने के बाद सोनाली को कमरे में ले जाया जाता है. पर सोनाली की तबीयत अब भी ठीक नहीं थी. उल्टे अब उसकी तबीयत और ज्यादा खराब हो रही थी. 

डॉक्टर ने सोनाली को बताया डेड

सुबह 8 बजते-बजते सोनाली की तबीयत सचमुच बिगडने लगी. उसकी हालत देख कर सुधीर और सुखविंदर घबरा जाते हैं. फिर दोनों रिसॉर्ट के रिसेप्शन से नजदीकी अस्पताल की जानकारी लेते हैं. इसके बाद एक प्राइवेट टैक्सी से तीनों सेंट एंथोनी अस्पताल पहुंचते हैं. अस्पताल के कैजुअल्टी वार्ड में पहली बार डॉक्टर सोनाली को देखते हैं. पर तब तक नब्ज रुक चुकी थी और सांसें थम गई थी. डॉक्टर सोनाली को ब्रॉट डेड करार देते हैं. चूंकि मामला संदिग्ध मौत का था, लिहाजा उसी वक्त एंथोनी अस्पताल के एमओ यानी मेडिकल अफसर अंजुना पुलिस स्टेशन को फोन करते हैं. तब घडी में सुबह के 9 बजकर 22 मिनट हो रहे थे. 

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गोवा पहुंचा सोनाली का परिवार

सेंट एंथोनी अस्पताल से सोनाली का शव कब्जे में लेने के बाद पुलिस बेंबोलिम के जीएमसी मुर्दाघर पहुंचती है और लाश वहीं रख देती है. 23 अगस्त को ही सोनाली की मौत की खबर सुनने के बाद सोनाली का भाई रिंकू ढाका परिवार के दूसरे सदस्यों के साथ गोवा पहुंचते हैं. गोवा आने के बाद रिंकू ढाका अंजुना पुलिस स्टेशन को एक शिकायत देते हैं, जिसमें कहते हैं कि उनकी बहन का कत्ल हुआ है. और कातिल सुधीर और सुखविंदर ही है. शिकायत मिलने के बाद गोवा पुलिस सोनाली की मौत के मामले में एक एफआईआर दर्ज करती है. 

मौत का सबब बनी ड्रग्स की ओवरडोज! 

उधर, सोनाली की मौत के दो दिन बाद 25 अगस्त को गवर्नमेंट मेडिकल कॉलेज यानी जीएमसी में दो डॉक्टरों की टीम सोनाली का पोस्टमार्टम करती है. पोस्टमॉर्टम की वीडियोग्राफी होती है. पोस्टमॉर्टम के बाद डॉक्टर अपनी रिपोर्ट देते हैं लेकिन मौत की वजह को रिजर्व रखते हैं. रिजर्व रखने की वजह ये है कि केमिकल एनालिसिस, हिस्टोपैथोलॉजी और सिरोलॉजिकल रिपोर्ट्स अभी आई नहीं थी. हालांकि, शुरुआती पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में डॉक्टरों ने ये साफ किया कि सोनाली की मौत दिल का दौरा पड़ने से नहीं हुई है. जिन टेस्ट की रिपोर्ट का इंतजार किया जा रहा है, वो सारे टेस्ट यही इशारा करते हैं कि सोनाली की मौत के पीछे कहीं ना कहीं ड्रग्स या ड्रग्स की ओवरडोज है. 

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सुधीर और सुखविंदर की गिरफ्तारी

शुरुआती पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट सुधीर और सुखविंदर के इकबालिया बयान और रिसॉर्ट और क्लब के सीसीटीवी फुटेज को देखने के बाद गोवा पुलिस ने आधिकारिक तौर पर सुधीर और सुखविंदर को गिरफ्तार करने का फैसला किया. दोनों दस दिनों तक गोवा पुलिस की कस्टडी में रहेंगे. पर आगे की कार्रवाई का रास्ता तभी साफ होगा, जब तमाम केमिकल और विसरा रिपोर्ट सामने आ जाएगी. 

आरोपियों ने कुबूली सोनाली को ड्रग देने की बात

गोवा पुलिस की तफ्तीश जारी रहती है. पुलिस दोनों आरोपियों से पूछताछ करती है. जांच में सोनाली फोगाट के पीए सुधीर सांगवान और उसके साथी सुखविंदर ने सोनाली को उनकी मौत से कुछ घंटे पहले ड्रग्स देने की बात कुबूल की है. दोनों की निशानदेही पर पुलिस ने ना सिर्फ ड्रग्स की बाकी बची हुई खुराक बरामद की है, बल्कि शुरुआती तफ्तीश में ये भी साफ हुआ है कि दोनों ने सोनाली को जो ड्रग्स दी थी, वो मेथामफेटमाइन ड्रग थी. एक ऐसी ड्रग मेडिकल साइंस में जिसका इस्तेमाल आम तौर पर दिमागी बीमारियों के इलाज के लिए किया जाता है. मैथामफेटामाइन से डॉक्टर एटेंशन डेफिसिट हाईपर एक्टिविटी डिसऑर्डर यानी एडीएचडी और नार्कोलेप्सी जैसी बीमारियों का इलाज करते हैं. 

इंसान पर ऐसा होता है मेथामफेटमाइन ड्रग का असर

लेकिन इस मेडिकल यूज से अलग नशे की दुनिया में लोग इस डग में खुशियां ढूंढने की कोशिश करते हैं और फिर ऐसा फंसते हैं कि बाहर निकलना मुश्किल हो जाता है. इस केमिकल की तासीर ही कुछ ऐसी है कि इसकी लत लगने में देर नहीं लगती. ये ड्रग्स दिखने में क्रिस्टल के छोटे-छोटे टुकडों की तरह होती है, यानी सफेद और चमकदार. लेकिन सवाल ये है कि आख़िर ये इंसान के शरीर पर कैसे काम करता है? अपना असर कैसे दिखाता है, तो आइए इसे एक-एक कर समझने की कोशिश करते हैं.

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जान लेवा हो सकती है इसकी ओवरडोज़

मेथामफेटामाइन एक उतेजक नशीले पदार्थ के तौर पर जाना जाता है, जो इंसान के नर्वस सिस्टम पर असर डालता है. इसे लेने से दिमाग में डोपामाइन नाम का रसायन ज्यादा मात्रा में पैदा होने लगता है. जिससे इंसान को सुकून और खुशी महसूस होने लगती है. इंसान का एनर्जी लेवल भी हाई हो जाता है. अक्सर नशे के आदी लोग रिश्ते बनाने से पहले भी इस ड्रग्स का इस्तेमाल करते हैं. डोपामाइन बढ़ने से मिलनेवाली खुशी और उतेजना के चलते ही इसे लेनेवाले को जल्द ही इस ड्रग्स की आदत लग जाती है लेकिन कई मौकों पर इसकी ओवरडोज इंसान के लिए मौत की वजह भी बन जाती है. 

हर तरीके से इस्तेमाल की जाती है मेथामफेटामाइन ड्रग

नार्कोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो ने देश में मेथामफेटामाइन के बढ़ते इस्तेमाल पर 2016 में चिंता जताई थी. नशे में डूबे लोगों के बीच इस ड्रग्स को इसलिए भी लोग पसंद करते हैं, क्योंकि इस ड्रग्स को तकरीबन हर तरीके से इस्तेमाल किया जा सकता है. कुछ लोग इसे सिगरेट में डाल कर पीते हैं, कुछ दवा की तरह निगल जाते हैं, कुछ नाक से खींचते हैं, कुछ डिंक्स यानी पानी में घोल कर पी जाते हैं तो कुछ लोग इसे सीधे अपनी नसों में इंजेक्ट भी कर लेते हैं. लेकिन ये सारे के सारे तरीके बेहद खतरनाक हैं. नवर्स सिस्टम पर असर डालने की वजह से इंसान को भूख कम लगती हैं, सांसें तेज हो जाती हैं, दिल की धड़कन बढ़ जाती है और ब्लड प्रेशर भी हाई हो जाता है.

सुधीर और सुखविंदर के अलावा तीन गिरफ्तारी

गोवा पुलिस ने इस सिलसिले में सोनाली के पीए सुधीर और उसके साथी सुखविंदर के साथ-साथ उन्हें ड्रग्स सप्लाई करनेवाले ड्रग पेडलर रमाकांत मांदरेकर, रिसॉर्ट के मुलाजिम दत्ता पसाद गांवकर और कर्लीज बीच सैक के मालिक एडविन न्यूंस को भी गिरफ्तार कर लिया है. अंजुना बीच पर बना कर्लिस रेस्तरां पहले ही ड्रग्स यूज को लेकर विवादों में रहा है. इससे पहले भी यहां ड्रग एब्यूज के कई मामले सामने आ चुके हैं. और पुलिस पहले भी एडविन न्यूंस को गिरफ्तार कर चुकी है. एक बार फिर वो कानून के शिकंजे में है. दरअसल, उस पर सबकुछ जानते हुए भी अपने रेस्तरां में ड्रग्स के इस्तेमाल की छूट देने का इल्जाम है. इस केस में अभी कई और लोग पुलिस के रडार पर हैं. जिनका खुलासा जल्द हो सकता है.

 

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