scorecardresearch
 

इश्क के लिए एक बेटी बनी मां-बाप की कातिल

एक लड़की ने अपनी मुहब्बत को हासिल करने के लिए एक के बाद एक लाशें बिछाने की भयानक साजिश रची और दूसरी तरफ आशिकी में अंधा हो चुका उसका माशूक जो सिर्फ अपने प्यार के लिए उसी मुहब्बत के कुनबे की गिनती छोटा कर रहा था.

Advertisement
X
इश्क में बेटी ने मां-बाप समेत किया 5 का कत्ल
इश्क में बेटी ने मां-बाप समेत किया 5 का कत्ल

Advertisement

आज के जमाने के कुछ लड़का और लड़की ऐसे लैला-मजनू होते हैं जो एक-दूसरे से मोहब्बत के लिए अपने ही पूरे परिवार का दम भी निकाल देते हैं. इश्क में अंधे एक प्रेमी जोड़े ने अपने हाथों से अपने ही घर के पांच लोगों का कत्ल कर दिया. वो तो नसीब अच्छा था जो परिवार के बाकी तीन लोग बच गए. वर्ना कत्लेआम तो आठ का होना था.

आशिक के साथ मिलकर किया 5 लोगों का कत्ल
ग्रेटर नोएडा से लेकर बदायूं और बदायूं से लेकर बुलंदशहर तक आशिकी की आंच में झुलसे रिश्तों की ये एक ऐसी कहानी है जिसका हर हर्फ खूनी है. इनमें एक तरफ वो माशूका थी, जिसने अपनी मुहब्बत को हासिल करने के लिए एक के बाद एक लाशें बिछाने की भयानक साजिश रची और दूसरी तरफ आशिकी में अंधा हो चुका वो माशूक, जो सिर्फ अपनी मुहब्बत के लिए उसी मुहब्बत के कुनबे की गिनती छोटा कर रहा था.

Advertisement

इश्क के चलते परिवार ने लगाई पाबंदी
ग्रेटर नोएडा के गांव नवादा में राजे अपने परिवार के साथ रहते थे. इसी परिवार में प्रीति नाम की एक बेटी थी. जो अपने ही गांव में रहने वाले मुगीश नाम के एक शादीशुदा शख्स से प्यार करती थी. वो दूसरे मजहब से ताल्लुक रखता था. पहले तो दोनों का रिश्ता चोरी-छिपे चलता रहा लेकिन जल्द ही इस प्यार और रिश्ते की बात प्रीति के घरवालों को पता चल गई. इसके बाद प्रीति के घरवालों ने उस पर पाबंदियों की शुरुआत कर दी और उसका घर से निकलना भी बंद कर दिया.

परिजनों को देती थी नींद की दवा
प्रीति खुद पर भूत-प्रेत का साया होने का नाटक करने लगी. इधर उसने ड्रामे की शुरुआत की और उधर घरवाले बेटी की परेशानी दूर करने के लिए तांत्रिकों के पास जा पहुंचे. इसके बाद उन्हें अपने ही गांव के एक तांत्रिक सलीम ने बदायूं में एक पीर बाबा के मजार में जाकर जियारत करने की सलाह दी. घरवालों ने वो सलाह मानी और कई बार बदायूं में पीर बाबा की मजार पर गए. लेकिन हर बार प्रीति मजार में पहुंच कर अपने घरवालों को नींद की दवा दे देती और फिर वहीं चुपके से उसका अपने आशिक मुगीश के साथ मिलना-जुलना भी हो जाता था.

Advertisement

आठ लोगों के कत्ल की रची थी साजिश
प्रीति ने अपने आशिक के साथ मिलकर धोखे से अपने तमाम घरवालों को कोल्ड ड्रिंक में नींद की गोलियां मिलाकर पिला दीं. जल्द ही नशीली दवा का असर हुआ और देखते ही देखते प्रीति के पिता राजे, मां सत्यवती, मामा राजेंद्र, मामी प्रीति, भाई ललित, भाभी शीतल, तांत्रिक सलीम और ड्राइवर ओमपाल पर नशा छाने लगा. सब एक-एक कर बेहोश होने लगे. इत्तेफाक से अपनी तबीयत खराब होने की वजह से प्रीति के भाई, भाभी और मामा तो दरगाह में ही रुक गए. प्रीति ने बाकी पांच लोगों को अस्पताल ले जाने की बात कहते हुए अपनी कार में लाद लिया. तब तक प्रीति का आशिक मुगीश भी वहां आ पहुंचा था. अब प्रीति के मां-बाप और मामी समेत पांच लोग उनके कब्जे में आ चुके थे.

पांच लोगों को दी जलसमाधि
इसके बाद तो फिर आधी रात के सन्नाटे में दोनों गाड़ी में पांच लोगों को लेकर बुलंदशहर के गंग नहर तक पहुंचे और फिर वहां गाड़ी को नहर के किनारे लगा कर उसे पीछे से धकेल कर दोनों को पांच लोगों को जीते जी जलसमाधि दे दी और भाग निकले. तब तो दोनों को लगा कि शायद ये राज हमेशा के लिए राज ही रह जाएगा लेकिन जल्द ही मामला सामने आ गया. अगले ही दिन नहर में समाई मारुति इको कार से प्रीति के मां-बाप और मामी की लाश बरामद हो गई. जबकि तांत्रिक सलीम की लाश बाद में मिली और ड्राइवर ओमपाल का तो अब भी कोई पता नहीं है. ये मामला पहले ही दिन से रहस्यमयी था. बुलंदशहर पुलिस ने कत्ल का मुकदमा दर्ज कर तफ्तीश शुरू कर दी और पुलिस का शक सही निकला.

Advertisement

कॉल डिटेल से हुआ खुलासा
पुलिस को पता चला कि उस रात प्रीति भी अपने घरवालों के साथ थी और उसका भी कोई अता-पता नहीं था. इसके बाद छानबीन करते हुए जब पुलिस ने उसकी कॉल डिटेल निकलवाई तो उसके कान खड़े हो गए. प्रीति अपने मोबाइल से लगातार एक शख्स से बात कर रही थी और ये शख्स कोई और नहीं बल्कि उसका आशिक मुगीश था. इत्तेफाक से परिवार के तीन लोग मारे गए लेकिन उसी गाड़ी में बैठी प्रीति का फोन तब भी चालू था. फिर जल्द ही पुलिस ने जाल बिछाया और जैसे ही प्रीति अपने आशिक के साथ इलाहाबाद से बुलंदशहर पहुंची तो पुलिस ने उन्हें धर दबोचा. दोनों परिवार के खात्मे के बाद कोर्ट मैरिज करने के इरादे से इलाहाबाद गए थे.

Advertisement
Advertisement