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हाथरस गैंगरेप: दूसरे कोर्ट में ट्रायल नहीं होगा ट्रांसफर, इलाहाबाद हाईकोर्ट का इनकार

इलाहाबाद हाईकोर्ट इस मामले में अगली सुनवाई अब 16 सितंबर को करेगा. कोर्ट ने साफ किया है कि गवाह-वकील और पीड़िता के परिवार की सुरक्षा को लेकर आदेश प्रभावी रहेगा.

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इलाहाबाद हाईकोर्ट (फाइल फोटो)
इलाहाबाद हाईकोर्ट (फाइल फोटो)
स्टोरी हाइलाइट्स
  • पीड़िता के भाई की याचिका पर हाईकोर्ट में सुनवाई
  • ट्रायल स्थानांतरित करने से कोर्ट का इनकार

इलाहाबाद हाईकोर्ट में याचिका दायर कर हाथरस गैंगरेप केस की विशेष अदालत में चल रही सुनवाई पर रोक लगाने या केस को स्थानांतरित करने की अपील की गई थी. इलाहाबाद हाईकोर्ट ने इस याचिका पर सुनवाई करते हुए विशेष अदालत में चल रही सुनवाई पर रोक लगाने या ट्रायल स्थानांतरित करने से इनकार कर दिया. इलाहाबाद हाईकोर्ट में न्यायमूर्ति राजन रॉय और न्यायमूर्ति जसप्रीत सिंह की डिविजन बेंच ने जिला जज और सुरक्षा अधिकारियों की ओर से इस संबंध में दायर रिपोर्ट के आधार पर ये निर्णय लिया.

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जानकारी के मुताबिक हाथरस गैंगरेप केस की पीड़िता के भाई की याचिका पर सुनवाई करते हुए इलाहाबाद हाईकोर्ट ने सुनवाई पर रोक लगाने या ट्रायल स्थानांतरित करने से इनकार कर दिया. गौरतलब है कि पीड़िता के भाई ने ये आरोप लगाया था कि कोर्ट की कार्यवाही के दौरान निचली अदालत में अनियंत्रित भीड़ घुस आई थी जिसमें वकील भी शामिल थे.

पीड़िता के भाई ने ये आरोप भी लगाया था कि गवाहों के साथ ही उनके वकील को भी धमकाया गया था और ट्रायल जज को कार्यवाही रोकने के लिए मजबूर किया गया. पीड़िता के भाई की याचिका पर सुनवाई करते हुए इलाहाबाद हाईकोर्ट ने 20 मार्च को ये निर्देश दिया था कि हाथरस गैंगरेप केस की पीड़िता के मामले में गवाहों और वकील की सुरक्षा सुनिश्चित की जाए.

हाईकोर्ट ने बंद कमरे में सुनवाई के आदेश देने के साथ ही हाथरस के जिला जज और सीआरपीएफ सेंट्रल सेक्टर के महानिरीक्षक से आरोप को लेकर रिपोर्ट मांगा था. हाथरस के जिला जज ने सीलबंद लिफाफे में विस्तृत रिपोर्ट प्रस्तुत किया. इलाहाबाद हाईकोर्ट इस मामले में अगली सुनवाई अब 16 सितंबर को करेगा. कोर्ट ने साफ किया है कि गवाह-वकील और पीड़िता के परिवार की सुरक्षा को लेकर आदेश प्रभावी रहेगा.

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