छत्तीसगढ़ के सरगुजा जिले के मैनपाट से मानवता को शर्मसार करने वाली घटना सामने आई है. यहां पिता ने पहले तो रात में बार-बार रो रही 3 साल की बेटी की नाक पर मुक्का मारकर उसकी जान ले ली. फिर अपना गुनाह छिपाने के लिए पत्नी के साथ मिलकर उसका शव नदी में फेंक दिया. यही नहीं, पिता ने थाने में जाकर रिपोर्ट दर्ज कराई कि उसकी मासूम बेटी का सोते समय कोई अपहरण कर ले गया है.
पुलिस ने जब जांच शुरू की तो मामला कुछ और ही निकला. सख्ती से पूछताछ में पिता ने हत्या की बात स्वीकार कर ली. इसके बाद पुलिस ने आरोपी पति-पत्नी को गिरफ्तार कर लिया. फिर दोनों को कोर्ट में पेश किया गया, जहां से उन्हें जेल भेज दिया गया.
मामला मैनपाट के केसरा पथरी इलाके का है. यहां रहने वाला प्रमोद मांझी पत्नी सुमित्रा और 3 साल की बेटी के साथ 15 अगस्त की रात को घर पर सो रहा था. इस दौरान बेटी बार-बार रो रही थी.
बेटी के रोने की आवाज से प्रमोद को इतना गुस्सा आया कि उसने उसकी नाक पर जोर से मुक्का मार दिया. बच्ची की मौके पर ही मौत हो गई. बेटी की मौत के बाद पति-पत्नी हड़बड़ा गए. जेल जाने के डर से उन्होंने बेटी के अपहरण की कहानी बना डाली और उसका शव ले जाकर घुनघुट्टा नदी में फेंक दिया.
सुबह प्रमोद मांझी कमलेश्वरपुर थाना पहुंचा और पुलिस को बताया कि उसकी बेटी को रात में सोते समय कोई उठा ले गया है. शिकायत मिलते ही पुलिस ने मामले की गंभीरता को देखते हुए उच्चाधिकारियों को सूचित किया और जांच शुरू की. पुलिस ने गांव में जाकर मासूम के माता-पिता और पड़ोसियों का बयान लिया. पुलिस को पति-पत्नी के बयानों पर शक हुआ. सख्ती से पूछताछ की गई तो दोनों ने अपना गुनाह कबूल लिया.
नदी के पास झाड़ियों में फंसा पड़ा मिला शव
आरोपी प्रमोद ने बताया कि गुस्से में उसने बेटी को मुक्का मारा था. उसे नहीं पता था कि इससे उसकी मौत ही हो जाएगी. अंबिकापुर की पुलिस अधीक्षक भावना गुप्ता ने बताया कि पुलिस ने नदी के पास बच्ची के शव की तलाश की तो उन्हें नदी के पास झाड़ियों में मासूम का शव फंसा पड़ा मिला. शव को पोस्टमार्टम के लिए भिजवा दिया गया है. पुलिस पूछताछ में यह भी सामने आया है कि जब आरोपी ने बच्ची को मारा, उस समय वह शराब के नशे में था.