पंजाब के होशियारपुर जिले में जलालपुर गांव में 21 अक्टूबर को हुई दिल दहलाने वाली घटना को लेकर अब राजनीतिक माहौल गरमाता जा रहा है और मोदी सरकार के केंद्रीय मंत्रियों ने कैप्टन अमरिंदर सिंह समेत सोनिया और राहुल गांधी पर निशाना साधा है तो वहीं अकाली दल और आम आदमी पार्टी ने भी कहा कि राज्य में अब कानून व्यवस्था नाम की चीज नहीं रही.
विपक्ष की ओर से हो रहे हमले के बीच पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने जारी किए गए अपने बयान में कहा कि पंजाब में हुई घटना और उत्तर प्रदेश के हाथरस में हुई घटना में तुलना नहीं की जा सकती. यहां पर पुलिस ने तुरंत कार्रवाई करते हुए आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है तो पीड़ित परिवार की मदद भी की गई है.
2 आरोपियों पर एफआईआर
21 अक्टूबर को 6 साल की मासूम की रेप के बाद हत्या कर शव को जला दिया गया था और नाबालिग को अपने साथ ले जाता हुआ आरोपी सीसीटीवी में भी कैद हुआ था और बाद में पीड़ित परिवार को सूचना भी मुख्य आरोपी सरप्रीत जो मंदबुद्धि है, ने ही पीड़ित परिवार को दी थी.
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पुलिस के मुताबिक, दो आरोपियों पर एफआईआर दर्ज की गई है. एफआईआर मृतक लड़की के पिता के बयानों पर दर्ज की गई है, जिसमें उन्होंने आरोप लगाया है कि सुरजीत सिंह और उसके बेटे ने रेप के बाद उसकी बेटी को जलाकर मार दिया है.
इन्वेस्टिगेशन एसपीडी रविंद्र पाल संधू ने कहा कि आरोपियों को अदालत में पेश करके 2 दिन की रिमांड ले ली गई थी और आज फिर से अदालत में पेश करके दोनों आरोपियों की रिमांड ली जा रही है. पकड़े गए आरोपी सरप्रीत सिंह मंदबुद्धि है और उसका दादा जिसकी आयु 85 वर्ष है खेती-बाड़ी का काम करता है.
सरकारी नौकरी दी जाएः बीजेपी
घटना के बाद बीजेपी के पूर्व केंद्रीय राज्य मंत्री विजय सांपला पीड़ित परिवार के घर दुख प्रकट करने पहुंचे. उन्होंने सरकार से मांग की है कि इनकी सरकारी तौर पर मदद की जाए. परिवार में से एक को सरकारी नौकरी दी जाए. इसी प्रकार आम आदमी पार्टी की विधायक सुरजीत कौर मलूका ने भी पंजाब सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा है कि कांग्रेस सरकार यूपी में हाथरस के हादसे घटना को तो उठा रही है, लेकिन पंजाब में हुई इस घटना पर कोई भी अपनी प्रतिक्रिया या संवेदना व्यक्त करने राहुल गांधी क्यों नहीं पहुंचे. उन्होंने आरोपियों को फास्ट ट्रैक के जरिए जल्द सजा सुनाने की मांग करते हुए कहा कि आरोपियों को फांसी की सजा मिलनी चाहिए.
अकाली दल ने भी इस मामले पर बयान दिया है कि पंजाब में रेप जैसी घटनाएं आम हो गई हैं और हत्याएं भी हो रही हैं. सरकार को तुरंत कड़ी कार्रवाई करते हुए आरोपियों को फांसी के फंदे तक पहुंचाना चाहिए.
हैवानियत की इस घटना पर राजनीति ही नहीं बल्कि आम लोगों में भी काफी गुस्सा है. यहां तक कि आरोपियों को उस समय जनता ने घेर लिया जब उन्हें स्थानीय अस्पताल में मेडिकल के लिए ले जाया गया था. हालांकि दोनों आरोपियों पर रेप, POCSO अधिनियम और एससी एक्ट के तहत मामला दर्ज किया गया है, फिर भी लोग इस घटना को लेकर खासे नाराज हैं. पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने राज्य के DGP को तुरंत आरोपियों को गिरफ्तार कर इस मामले की सुनवाई फास्ट ट्रैक में करवाने के आदेश दिए हैं.