आईआईटी खड़गपुर में तीसरे वर्ष की एक छात्रा की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई है. उसका शव सोमवार को उसके छात्रावास में फांसी के फंदे से लटकता हुआ मिला है. मृतक छात्रा की पहचान देविका पिल्लई (21) के रूप में हुई है. अभी तक यह साफ नहीं हो पाया है कि उसकी मौत किन वजहों से हुई है.
एक पुलिस अधिकारी ने बताया, "छात्रा छात्रावास की इमारत की छत से लटकी हुई मिली. यह आत्महत्या का मामला है या कुछ और, इसका पता लगाया जाना बाकी है. हमने मौत की जांच शुरू कर दी है. उसके शव को पोस्टमार्टम के लिए खड़गपुर उप-मंडल अस्पताल भेज दिया गया है. रिपोर्ट का इंतजार है."
आईआईटी खड़गपुर ने एक बयान में कहा कि बायोटेक्नोलॉजी विभाग की तीसरे वर्ष की छात्रा देविका पिल्लई सरोजिनी नायडू/इंदिरा गांधी छात्रावास परिसर में फांसी के फंदे से लटकी हुई मिली. इसके बाद स्थानीय पुलिस को सूचित कर दिया गया. पुलिस इस मामले की गहनता से जांच कर रही है.
मैनेजमेंट ने अपने एक बयान में कहा है, "आईआईटी खड़गपुर के छात्र, कर्मचारी और संकाय सदस्य देविका पिल्लई के अचानक निधन पर गहरा शोक व्यक्त करते हैं. 17 जून, 2024 की सुबह उन्हें सरोजिनी नायडू/इंदिरा गांधी हॉल परिसर में फांसी पर लटका हुआ पाया गया. तुरंत डॉक्टर को दिखाया गया.''
इसके बाद पुलिस अधिकारियों और उनके परिवार को सूचित कर दिया गया. यह पूछे जाने पर कि क्या यह आत्महत्या का मामला है या कुछ और, इस पर संस्थान के प्रवक्ता ने कहा, "पुलिस देविका पिल्लई की मौत के आसपास की परिस्थितियों की गहनता से जांच कर रही है.''
देविका पिल्लई को अकादमिक रूप से प्रतिभाशाली छात्रा बताते हुए संस्थान ने कहा कि उनका बायोसाइंस और बायोटेक्नोलॉजी के क्षेत्र में बेहतरीन प्रदर्शन था. वो सरोजिनी नायडू/इंदिरा गांधी छात्रावास में सामाजिक और सांस्कृतिक महासचिव थीं. बायोसाइंस और बायोटेक्नोलॉजी विभाग के तहत इंटर्नशिप कर रही थी.
संस्थान की तरफ से बताया गया, "आईआईटी खड़गपुर अपने छात्रों के कल्याण और मानसिक स्वास्थ्य के लिए प्रतिबद्ध है. हमारे पास परामर्श और मानसिक स्वास्थ्य संसाधनों सहित कई प्रकार की सहायता सेवाएं उपलब्ध हैं. हम छात्रों से आग्रह करते हैं कि जब भी आवश्यकता हो, वे इन सेवाओं का उपयोग करें."
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