scorecardresearch
 

क्या है LMG और कृष्णानंद मर्डर केस... जिस वजह से मुख्तार पर कसा है UP सरकार का शिकंजा

बागपत की जेल में अपने खासमखास मुन्ना बजरंगी की हत्या के बाद से ही मुख्तार को मौत का डर सताने लगा था इसलिए सियासी सेटिंग के तहत वह पंजाब की जेल में शिफ्ट हुआ था. आइए नजर डालते हैं मुख्तार की 2 बड़ी क्राइम फाइल पर.

Advertisement
X
बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी (File Photo)
बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी (File Photo)
स्टोरी हाइलाइट्स
  • 2004 में सामने आया था LMG केस
  • इसी केस में मुख्तार को लाया जा रहा UP

बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी को पंजाब की रोपड़ जेल से लाने की कवायद शुरू हो गई है. बांदा से पुलिस टीम रवाना हो चुकी है. अपने सियासी रसूख के दम पर खूनी खेल खेलकर भी बचने में माहिर माफिया डॉन मुख्तार अंसारी को कई अड़चने पार करके योगी सरकार, यूपी ला रही है.

Advertisement

मुख्तार अंसारी पर कभी गवाहों को मरवा देने का आरोप लगा तो कभी जांच से जुड़े पुलिस अफ़सरों को ही ठिकाने लगवा देने की तोहमत. बागपत की जेल में अपने खासमखास मुन्ना बजरंगी की हत्या के बाद से ही मुख्तार को मौत का डर सताने लगा था इसलिए सियासी सेटिंग के तहत वह पंजाब की जेल में शिफ्ट हुआ था.

आइए नजर डालते हैं मुख्तार की 2 बड़ी क्राइम फाइल पर.

2004 के LMG केस में उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में कानूनी लड़ाई लड़ने के बाद आखिरकार मुख़्तार अंसारी को यूपी लेकर आ ही रही है. अब मुख्तार से उत्तर प्रदेश पुलिस नए सिरे से पूछताछ करेगी. LMG केस में तो यूपी एसटीएफ के तत्कालीन पुलिस अधिकारी शैलेन्द्र प्रताप सिंह ने मुख्तार और उसके गुर्गों के बीच LMG खरीद फरोख्त की बातचीत की कॉल को इंटरपेस्ट किया था और केस दर्ज किया था बाद में नतीजा ये हुआ कि माफिया डॉन पर एक्शन की बजाए एसटीएफ के पुलिस अधिकारी शैलेन्द्र प्रताप सिंह को ही मुख्तार ने अपने सियासी अकाओं के दम पर बेइज्जत करवाया और उल्टा केस करवा दिया.

Advertisement

2004 के LMG केस की क्राइम फाइल आज तक/इंडिया टुडे के पास है. LMG ख़रीदने की बात करते हुए मुख़्तार की आवाज़ STF ने इंटरसेप्ट किया था. इस मामले में STF ने POTA के तहत मामला दर्ज किया था. रेड में एसटीएफ़ ने LMG और कारतूस बरामद किए थे

बातचीत का अंश
मुख्तार अंसारी- इस लाइन में इतना देर नहीं किया जाता, अगर वो बिक जाएगा, दुश्मन के पास चला जाएगा, सोचो तुम्हारे भाई का क्या होगा.
मुख्तार का करीबी - दुश्मन के भाई के पास कैसे जाएगा. दुश्मन के भाई के पास जाने से हम रोक देंगे. वहां पर नहीं जाएगा.
मुख्तार अंसारी- नहीं... बात कर रहे हैं.
मुख्तार का करीबी - नहीं सही है.
मुख्तार अंसारी - जल्दी करो कैसे भेंट होगी.
मुख्तार का करीबी - भेंट होगी, मुजाहिद की वजह से गड़बड़ हो गया.
मुख्तार अंसारी- जल्दी पैसा देकर लौट आया जाए.
मुख्तार का करीबी - ठीक है हम अभी तुंरत जाते हैं.

2005 में हो गई थी कृष्णानंद राय की हत्या
LMG केस साल 2004 का है और इसके ठीक एक साल बाद 2005 में बीजेपी विधायक कृष्णनंद राय हत्याकांड को अंजाम दिया गया था, जिसमें मुन्ना बजरंगी के साथ कई हमलावरों ने AK-47 और शक है कि LMG जैसे अत्याधुनिक हथियारों से कृष्णनंद राय को ताबड़तोड़ भून कर मौत के घाट उतार दिया था. 

Advertisement

इस केस में भी यूपी एसटीएफ ने उस वक्त जेल में बंद मुख्तार अंसारी को हत्याकांड का मास्टरमाइंड बताया था. यूपी एसटीएफ ने बकायदा मुख्तार अंसारी और उस वक्त जेल में बंद माफिया अभय सिंह के बीच की बातचीत को भी इंटरसेप्ट किया था. इसमें मुख्तार कहता सुनाई दे रहा है कि कृष्णानंद राय पर गोलियां चल रही हैं, मुकाबला आमने-सामने का है और कृष्णानंद की चुटिया काट ली.

एसटीएफ ने कृष्णानंद राय हत्याकांड के तमाम सबूत जुटाए. बाद में मामला सीबीआई को सौंप दिया गया. अदालत में एक तरफ सुनवाई चल रही थी, दूसरी तरफ केस जुड़े कुछ मार दिए गए तो कुछ गवाह पलट गए और नतीजा ये हुआ कि मुख्तार इस केस में बरी हो गया.

माना तो ये भी जाता है कि यूपी में योगी सरकार के आने के बाद मुख्तार अंसारी समझ गया था कि अब उस पर योगी सरकार शिकंजा कस देगी, इसलिए वो अपने एक पुराने केस में सेटिंग कर पंजाब की जेल चला गया क्योंकि पंजाब जेल में उसे सुरक्षा के लिए लिहाज से मुफीद लगी. 

एक वक्त था कि मुख्तार से उत्तर प्रदेश के लोग थरथर कांपते थे, लेकिन आज वक्त बदल चुका है. आज उसी मुख्तार को यूपी में डर लगता है. वो यूपी की जेल में भी अपनी जान का खतरा बताता है, लेकिन योगी सरकार ने लंबी कानूनी लड़ाई लड़ी और अब मुख्तार उत्तर प्रदेश की सरहद में दाखिल होने वाला है.

Advertisement

 

Advertisement
Advertisement