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बीकानेरः अनाज की टंकी बनी मौत का कुआं, अचानक गिरा ढक्कन, सगे भाई-बहनों समेत 5 की मौत

यह दर्दनाक घटना बीकानेर के हिम्मतासर गांव की है. जहां रविवार की दोपहर 5 बच्चे अनाज की टंकी में मृत पाए गए. सभी बच्चों की उम्र 8 साल से कम है. दरअसल, बच्चे लुका-छिपी खेल रहे थे. इसी दौरान छिपने के लिए वे घर में रखी अनाज की टंकी में घुस गए.

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लोहे की टंकी में जब बच्चे घुसे तो ढक्कन बंद हो गया, जिसे बच्चे खोल नहीं पाए
लोहे की टंकी में जब बच्चे घुसे तो ढक्कन बंद हो गया, जिसे बच्चे खोल नहीं पाए
स्टोरी हाइलाइट्स
  • मृतकों में चार बच्चे और एक बच्ची शामिल
  • एक ही परिवार के थे हादसे का शिकार बने 4 बच्चे
  • पुलिस करा रही है बच्चों का पोस्टमॉर्टम, रिपोर्ट का इंतजार

राजस्थान के बीकानेर में एक दर्दनाक हादसे ने पांच मासूम बच्चों की जान ले ली, जिसमें 4 सगे भाई-बहन शामिल थे. इस घटना के बाद पूरे गांव में मातम पसरा हुआ है. इस हादसे के बाद पुलिस भी मौके पर पहुंची और बच्चों के शव पोस्टमॉर्टम के लिए भिजवाए हैं, ताकि बच्चों की मौत का कारण साफ पता चल सके. यह हादसा उस वक्त हुआ, जब पांचों बच्चे लुका छिपी खेल रहे थे. बताया जा रहा है कि वे खेलते वक्त अनाज की टंकी में घुसे थे.

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यह दर्दनाक घटना बीकानेर के हिम्मतासर गांव की है. यहां रविवार की दोपहर 5 बच्चे अनाज की टंकी में मृत पाए गए. सभी बच्चों की उम्र 8 साल से कम है. दरअसल, बच्चे लुका-छिपी खेल रहे थे. इसी दौरान छिपने के लिए वे घर में रखी अनाज की टंकी में घुस गए. तभी उस टंकी का ढक्कन अचानक बंद हो गया और दम घुटने से सभी बच्चों की दर्दनाक मौत हो गई. 4 बच्चों की मां ने जब दोपहर में आकर बच्चों को खोजना शुरू किया तो वे नहीं मिले. तभी अचानक मां ने अनाज की टंकी खोली तो अंदर का मंजर देखकर उसके होश उड़ गए. 

टंकी में पांच बच्चों की लाश थी. ये देखकर मां बेसुध हो गई. उसने जोर-जोर से चिल्लाना शुरू कर दिया. आस-पास के लोग मौके पर पहुंचे और बच्चों को बाहर निकाला. लेकिन तब तक सभी दम तोड़ चुके थे. मरने वाले बच्चों में किसान भीयाराम का बेटा सेवाराम (4 साल), बेटियां रविना (7 साल), राधा (5 साल) और टींकू उर्फ पूनम (8 साल) शामिल थे. जबकि पांचवी बच्ची भीयाराम की भांजी माली पुत्री मघाराम थी.

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हादसे के वक्त किसान भीयाराम और उनकी पत्नी समेत परिवार के अन्य लोग खेत में काम करने गए हुए थे. घर में पांचों बच्चे थे. जो खेलते वक्त लोहे की चादर से बनी अनाज की टंकी घुसे और टंकी का ढक्कन अचानक बंद हो गया. टंकी की गहराई 5 फीट और चौड़ाई करीब 3 फीट बताई जा रही है. बच्चों ने इसे खोलने की कोशिश भी की होगी. लेकिन वो अंदर से नहीं खुली और आवाज सुनने वाला भी घर में कोई नहीं था. ऐसे में बच्चे खुद को बचा नहीं सके.

इस दर्दनाक हादसे ने भीयाराम का हंसता-खेलता घर उजाड़ दिया. जिस घर में बच्चों की खिलखिलाती आवाज़ें और अठखेलियां गूंजा करती थीं, वहां अब मातम पसरा हुआ है. घटना की जानकारी मिलने के बाद पुलिस गांव में पहुंची और मौके पर जाकर बच्चों के शव कब्जे में ले लिए. नापासर थाने के प्रभारी निरीक्षक ने बताया कि बच्चों के शव पोस्टमॉर्टम के लिए भेजे जा रहे हैं. रिपोर्ट आने पर स्थिति साफ होगी.

 

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