उत्तर प्रदेश के बाराबंकी जिले में फर्जी दस्तावेजों के आधार पर एंबुलेंस का रजिस्ट्रेशन कराए जाने के मामले में बाहुबली विधायक मुख्तार अंसारी मुश्किलें बढ़ती नजर आ रही हैं. उस विवादित एंबुलेंस को यूपी पुलिस की टीम पंजाब के रोपड़ से बाराबंकी ले आई है. थोड़ी सी मरम्मत के बाद उस एंबुलेंस को पुलिस लाइन में खड़ा कर दिया गया है. इस मामले में मुख्तार के करीबी राजनाथ यादव को बाराबंकी पुलिस ने गिरफ्तार किया है. जिसे सीजेएम कोर्ट में पेश कर जेल भेज दिया गया है.
बाराबंकी की नगर कोतवाली में एंबुलेंस को लेकर मुकदमा दर्ज किया गया है. जिसमें मुख्तार अंसारी को पुलिस ने साजिश और जालसाजी का आरोपी बनाया है. साथ ही आईपीसी की धारा 120बी भी लगाई गई है. डॉ. अलका राय के बयान को आधार बनाकर ये मुकदमा दर्ज किया गया है. वहीं इस मामले में एक आरोपी राजनाथ यादव पुत्र फुलेश्वर यादव निवासी अहिरौली थाना सराय लखन्सी, जनपद मऊ को बाराबंकी पुलिस ने गिरफ्तार किया है.
राजनाथ यादव पर आरोप है कि उसी ने एंबुलेंस को लेकर डॉक्टर अलका रॉय पर दबाव बनाया था. बाराबंकी न्यायालय ने आरोपी राजनाथ यादव को पुलिस रिमांड पर भेज दिया है. पुलिस जल्द इस मामले में बड़ा खुलासा करेगी. माना जा रहा है कि इस मामले में मुख्तार अंसारी को भी जल्द ही बाराबंकी कोर्ट में पेश किया जा सकता है.
पंजाब से बरामद एंबुलेंस की गहन जांच की जा रही है. पुलिस को इस केस में शक है कि ये वही एंबुलेंस है जिससे मुख्तार घूमता था. या उसे गायब कर डमी एंबुलेंस लावारिस हालत में छोड़ दी गई है. ऐसे तमाम सुराग जुटाने के लिए पुलिस की टीम गहन जांच कर रही है.
बाराबंकी के पुलिस अधीक्षक यमुना प्रसाद ने बताया कि इस संबंध में 2 तारीख को जनपद बाराबंकी के थाना कोतवाली में एम्बुलेंस यूपी 41 एटी 7171 का पंजीकरण फर्जी दस्तावेजों के आधार पर किए जाने और बिना वैध प्रमाण-पत्र के उसका संचालन किए जाने का मामला दर्ज किया गया. मुकदमा अपराध संख्या- 369/21 के तहत आईपीसी की धारा-419, 420, 467, 468, 471 बनाम डॉक्टर अलका राय पंजीकृत कराया गया था.
इसमें दो टीम बनाकर एक्शन लिया गया. जिसमें पता चला कि मऊ के श्याम संजीवनी अस्पताल एवं रिसर्च सेन्टर की डॉक्टर अलका राय, उनके सहयोगी डॉक्टर शेषनाथ राय, मुख्तार अंसारी, मुजाहिद, राजनाथ यादव और अन्य ने आपराधिक षड्यन्त्र में कूटरचित दस्तावेज तैयार किए थे.
दूसरी टीम नवीन कुमार सिंह, क्षेत्राधिकारी हैदरगढ़ के नेतृत्व में पंजाब गई थी. जहां रोपड़-ऊना हाइवे पर ढाबे के पास एंबुलेंस लावारिस हालत में खड़ी थी. जिसे थाना सदर, रोपड़ में दाखिल किया गया है. वहां पर उसकी गहन जांच-पड़ताल करते हुए केस प्रॉपर्टी के रूप में बाराबंकी लाया गया है.