सुशांत केस में रिया की ड्रग मंडली और ड्रग तस्करों के बीच होने वाली बातचीत को लेकर चौंकाने वाली जानकारी सामने आई है. आजतक के हाथ लगी कॉल डिटेल रिकॉर्ड से पता चलता है कि सुशांत का हाउस मैनेजर मिरांडा असल में सुशांत का ड्रग मैनेजर बन गया था. ड्रग पैडलरों की सीडीआर में सैमुअल का नंबर कई बार आया है और उसने घंटों तक नशे के सौदागरों से बातचीत की है.
जांच में पता चला है कि रिया चक्रवर्ती की ड्रग मंडली मुंबई के तमाम बदनाम ड्रग तस्करों के संपर्क में थी. एनसीबी ने जब इन ड्रग तस्करों और सुशांत के स्टॉफ की कॉल डिटेल रिकॉर्ड खंगालना शुरू की तो एक के बाद एक हैरान कर देने वाले खुलासे होने शुरू हो गए. आगे पता चला कि सुशांत का मैनेजर सैमुअल मिरांडा तमाम ड्रग तस्करों के संपर्क में था और वही रिया और सुशांत के कहने पर ड्रग का इंतजाम किया करता था.
दरअसल, इस ड्रग मंडली का आपस में मोबाइल कनेक्शन था. इस बात का खुलासा जैद और ड्रग सप्लायर कर्मजीत की सीडीआर से हो गया है. जैद और सैमुअल मिरांडा लंबे वक्त से संपर्क में थे. दोनों में तीन फोन कॉल के दौरान 72 मिनट की बातचीत हुई थी. सितंबर से लेकर मार्च तक सैमुअल मिरांडा के बीच बातचीत होने के सबूत सामने आए हैं. 17 बार की कॉल्स के दौरान 300 मिनट तक बात हुई. पूरी तरह साफ हो गया कि जैद, बासित, रिषभ ठक्कर, कर्मजीत और करन अरोड़ा एक-दूसरे के संपर्क में थे.
मोबाइल फोन की बातचीत का यही मकड़जाल था, जिसने रिया के खिलाफ इस केस को इतना पुख्ता बना दिया कि उसके पास से रत्ती भर ड्रग्स की बरामदगी न होने के बावजूद भी कोर्ट से उसे जमानत नहीं मिली. सुशांत के स्टॉफ और ड्रग तस्करों के सीडीआर की जांच के बाद ही एनसीबी ने मुंबई और गोवा में ड्रग तस्करों के अलग-अलग ठिकानों पर छापेमारी की. अब आपको साफ कर दें कि इस सीडीआर से निकला गिरफ्तारी का जिन्न केवल यहीं रुकने वाला नहीं है बल्कि आने वाले वक्त में और भी लोग एनसीबी के शिकंजे में आएंगे. फिलहाल, मायानगरी के कई नशेबाजों की नींद गायब है.