गोरखपुर में मनीष गुप्ता हत्याकांड और फिर लखीमपुर में हुई हिंसा में यूपी पुलिस की किरकिरी होने के बाद अब आजमगढ़ में एक पुलिस अधिकारी का वीडियो वायरल हो रहा है. एक यूजर ने ट्विटर पर यूपी पुलिस द्वारा पीड़ित परिजन के साथ दुर्व्यवहार के बारे लिखते हुए एक वीडियो शेयर किया है. यूजर ने लिखा है, 'आजमगढ़ में 8 साल की बच्ची की बलात्कार के बाद मौत, परिवार ने कार्रवाई की मांग की तो एसपी ने थप्पड़ मारा.'
इस वीडियो में एसपी पीड़ित पक्ष के एक युवक को खींचकर ले जाते दिख रहे हैं. पीड़ित पक्ष न्याय की गुहार लगाता दिख रहा है. इसी बीच एसपी परिवार के पास आते हैं और एक युवक को बुलाकर उसे खींचते हुए ले जाते हैं. ये वीडियो वायरल हुआ तो बाद में एसपी ने खुद सफाई दी. हालांकि सोशल मीडिया पर वायरल वीडियो में एसपी आजमगढ़ पीड़ित परिवार के सदस्य को मारने की बात कहते हुए उसे खींचते हुए नजर आ रहे हैं. वहीं वीडियो में नजर आ रहा है कि एसपी ने इस दौरान युवक को थप्पड़ भी जड़ दिए हैं.
इस मामले में आजमगढ़ पुलिस की तरफ से स्पष्टीकरण भी दिया गया है. आज़मगढ़ पुलिस ने अपने ऑफिशियल ट्विटर अकाउंट से ट्वीट करते हुए लिखा, 'दिनांक 13/10/21 को जनसुनवाई के दौरान थाना रौनापार के कुछ लोगों द्वारा दिए गए प्रार्थना पत्र पर तत्काल एसपी आजमगढ़ के द्वारा मुकदमा पंजीकृत कराने हेतु आदेश दिया गया. इसके बावजूद उन लोगों द्वारा एसपी के वाहन के आगे लेट जाना व पथराव करने के प्रयास के संबंध में एसपी का आधिकारिक वक्तव्य.'
दिनांक 13/10/21 को जनसुनवाई के दौरान थाना रौनापार के कुछ लोगों द्वारा दिए गए प्रार्थना पत्र पर तत्काल #spazh के द्वारा मुकदमा पंजीकृत कराने हेतु आदेश दिया गया इसके बावजूद उन लोगों द्वारा #spazh के वाहन के आगे लेट जाना व पथराव करने के प्रयास के संबंध में #Spazh का आधिकारिक वक्तव्य pic.twitter.com/EmEzgywqzg
— AZAMGARH POLICE (@azamgarhpolice) October 13, 2021
क्या है मामला-
यूपी के आजमगढ़ रौनापार थाना अंतर्गत एक नाबालिक के साथ दुष्कर्म कर सड़क पर फेंकने और इलाज के दौरान हुई मौत पर ग्रामीण थाने का चक्कर लगाते हुए अपनी शिकायत दर्ज कराने एसपी कार्यालय पहुंचे. शिकायतकर्ता, एसपी से अपनी शिकायत कर जैसे ही बाहर आए वहीं कुछ लोग विरोध करने लगे.
इस पर एसपी आजमगढ़ ने खुद गाड़ी से उतर कर गाड़ी रोकने वाले को पकड़ लिया और रोड से पकड़कर सीओ कार्यालय तक ले गए जिसका वीडियो भी स्थानीय लोगों ने बना लिया. जिसे सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल भी किया जा रहा है.
एसपी ने रखा अपना पक्ष-
सोशल मीडिया पर लग रहे आरोपों और वायल वीडियो को लेकर एसपी आजमगढ़ ने बताया कि आज बुधवार रौनापार थाना क्षेत्र के कुछ पुरुष और महिलाएं जन सुनवाई के दौरान मुझसे मिले थे. उनकी जो एप्लीकेशन थी उस पर मुकदमा पंजीकृत करने का आदेश तत्काल कर दिया गया था. जन सुनवाई के उपरांत जब मैं बाहर निकला तो मेरी गाड़ी के आगे एक कम उम्र का लड़का लेट गया. जिसके बाद कुछ लोग पत्थर मारने के लिए सामने आ गए. उसी पर मेरे द्वारा गाड़ी से उतरकर उसको गाड़ी के सामने से हटाकर उसे ऑफिस में लाकर पूछताछ करके कुछ देर बाद छोड़ दिया गया. इसमें कुछ लोगों ने राजनैतिक लाभ लेने के लिए इस तरह का ट्वीट किया है. सोशल मीडिया पर इसमें कोई सत्यता नहीं है.
वहीं पीड़ितों का कहना है कि स्थानीय थाने पर दुष्कर्म की घटना की सूचना और मौत की सूचना पर कोई सुनवाई नहीं की गई.
बहरहाल, यूपी पुलिस की कार्यप्रणाली पर लगातार सवाल उठ रहे हैं. इससे पहले जहां गोरखपुर में कानपुर के एक व्यापारी की पुलिसकर्मियों द्वारा हत्या का मामला सामने आया वहीं दूसरी तरफ लखीमपुर मामले में आरोपी आशीष मिश्रा के साथ पुलिस का ढीला रवैया सभी को चौंका गया. अब आजमगढ़ पुलिस द्वारा पीड़ित परिजनों के साथ व्यवहार का यह वीडियो एक बार फिर यूपी पुलिस को सवालों के कटघरे में लाकर खड़ा कर रहा है.