पंजाब में एक महिला अपनी 12 साल की बेटी के साथ एसिड लेकर निर्माण स्थल पर काम रुकवाने के लिए पहुंची थी. मां-बेटी ने वहां खड़ी अकाली सरपंच की पत्नी समेत 6 महिला मजदूरों पर एसिड फेंक दिया, जिससे वह सभी बुरी तरह से झुलस गईं. एसिड अटैक में मां-बेटी के साथ-साथ वहां खड़ी एक और महिला भी हमले की चपेट में आ गई. घायलों का इलाज जारी है.
मामला पंजाब के कपूरथला के बूई गांव का है. सरपंच विनोद सहगल ने बताया कि इंग्लैंड में बसे बलवंत सिंह ने गांव की एक जमीन पर कब्जा किया हुआ था. मामला अदालत में पहुंचा और बलवंत सिंह केस हार गए. अब इस जमीन पर सरकारी ग्रांट की मदद से एक कम्यूनिटी हॉल बनाया जा रहा है. आरोपी महिला राजविंदर कौर और उसका पति निर्मल सिंह अब इस जमीन पर अपना मालिकाना हक बता रहे हैं.
सोमवार सुबह जैसे ही महिला मजदूर काम करने लगीं तो राजविंदर कौर ने अपने परिवार के साथ उन्हें रोका. सरपंच ने अपनी पत्नी रीना सहगल को वहां बुलाया और राजविंदर को समझाने के लिए कहा. जिसके बाद राजविंदर और उसकी नाबालिग बेटी ने रीना समेत सभी लोगों पर एसिड छिड़क दिया. हमले में रीना का पूरा चेहरा झुलस गया. शोर सुनकर वहां पहुंची एक अन्य महिला राजवंत कौर भी एसिड की चपेट में आ गई.
एसिड अटैक में खुद भी झुलसीं मां-बेटी
एसिड अटैक में आरोपी राजविंदर कौर और उसकी नाबालिग बेटी भी झुलस गई. घायलों को फौरन अस्पताल पहुंचाया गया, जहां उनका इलाज जारी है. सरपंच की पत्नी की हालत गंभीर होने की वजह से उन्हें जालंधर रेफर किया गया है. पुलिस ने पीड़िता के बयानों के आधार पर राजविंदर कौर, निर्मल सिंह, उनकी नाबालिग बेटी और दादी रतन कौर पर धारा 307 और 326 के तहत केस दर्ज किया है.
सीएम से कर चुके हैं शिकायत
सरपंच विनोद सहगल ने बताया कि उन्होंने राजविंदर की शिकायत सीएम बादल से संगत दर्शन में की थी. सीएम ने एसएसपी को कार्रवाई के आदेश दिए थे. उन्होंने एसएसपी को लिखित में शिकायत भी दी थी. सोमवार को जिस वक्त झगड़ा शुरु हुआ, उसी समय उन्होंने एसएसपी को फोन किया लेकिन उन्होंने फोन नहीं उठाया. विनोद सहगल ने पुलिस को घटना का जिम्मेदार मानते हुए कहा, अगर वक्त रहते पुलिस वहां आ जाती तो शायद यह हादसा नहीं होता.
आरोपी महिला ने खुद को बताया पीड़ित
वहीं आरोपी महिला राजविंदर कौर ने खुद पर लगे आरोपों को बेबुनियाद बताया. राजविंदर ने कहा कि तेजाब तो उनपर फेंका गया था. इस मामले में कोर्ट में केस चल रहा है और वह इस संबंध में एसएसपी को लिखित में शिकायत भी दे चुकी हैं. फिलहाल पुलिस मामले की जांच कर रही है. पुलिस पता लगाने की कोशिश कर रही है कि आरोपियों के पास तेजाब कहां से आया. गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश के मुताबिक पहचान पत्र के बगैर तेजाब की खरीद-फरोख्त अपराध है.