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खुफिया एजेंसियों को शक- छोटा राजन से दाऊद को पकड़ने में शायद ही मदद मिले, 5 वजहें

छोटा राजन के गिरफ्त में आने के बाद अब सबकी निगाहें अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम पर टिकी हैं. बताया जा रहा है कि छोटा राजन ने पूछताछ में कई राज उगले हैं.

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छोटा राजन
छोटा राजन

छोटा राजन के गिरफ्त में आने के बाद अब सबकी निगाहें अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम पर टिकी हैं. बताया जा रहा है कि छोटा राजन ने पूछताछ में कई राज उगले हैं. दाऊद इब्राहिम से लेकर महाराष्ट्र पुलिस में मौजूद डी-कंपनी के गुर्गों तक के. लेकिन खुफिया एजेंसियों के एक धड़े का मानना है कि छोटा राजन जो बातें बता रहा है, उन पर भरोसा नहीं किया जा सकता है. इसके 5 बड़े कारण हैंः-

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1. छोटा राजन खुद कई साल से दाऊद के संपर्क में नहीं है, इसलिए उसकी दी हुई सूचनाएं बहुत ज्यादा भरोसेमंद नहीं होंगी.

2. खुद एक खुफिया अधिकारी ने मेल टुडे से कहा है कि वह 27 साल से बाहर है. वह उन्हें क्या उपयोगी सूचनाएं दे सकता है.

3. एक समय में भारतीय एजेंसियां छोटा राजन गैंग को डी-कंपनी के खिलाफ इस्तेमाल करती थी, लेकिन वह दौर बीत चुका है.

4. शुरुआती पूछताछ में दाऊद के बारे में राजन कोई भी ऐसी जानकारी नहीं दे पाया, जिस पर खुफिया एजेंसियां उत्साहित हो सकें.

5. राजन भले ही दाऊद का दुश्मन हो, लेकिन एक जमाने में उसका साथी भी रहा है. एजेंसियां उसके हर दावे को जांच-परख रही हैं.

CBI भी करेगी पूछताछ
सूत्रों के मुताबिक छोटा राजन ने दाऊद से जुड़ी कई जानकारियां दी हैं, लेकिन फिलहाल इन्हें बहुत गंभीरता से नहीं लिया जा रहा. राजन को 25 अक्टूबर को बाली में गिरफ्तार किया गया था. उसे शुक्रवार सुबह ही दिल्ली लाया गया था. रॉ और आईबी के अफसरों ने उससे पूछताछ की है. सीबीआई और दिल्ली पुलिस भी पूछताछ करेगी . वह 1988 में भारत से दुबई भाग गया था.

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