दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने अलकायदा के एक संदिग्ध आतंकी को गिरफ्तार किया है. सुभान हक उर्फ शमी उर रहमान नामक इस संदिग्ध को पुलिस ने राजधानी के शकरपुर इलाके में स्थित बस स्टैंड से धर दबोचा. उसके पास से 9एमएम की एक पिस्टल, 4 कारतूस, एक लैपटॉप और 2 हजार की विदेशी करेंसी बरामद हुई है. पुलिस उससे पूछताछ कर रही है.
डीसीपी स्पेशल सेल पीएस कुशवाहा ने बताया कि संदिग्ध आतंकी के पास से बिहार के किशनगंज का वोटर आईडी मिला है. वह ब्रिटिश नागरिक है. साल 2013 में वह साउथ अफ्रिका गया था. वहां से सीरिया जाकर उसे आतंकी संगठन ज्वाइन किया था. इसने बकायदा हथियार चलाने की ट्रेनिंग ली है. वह रोहिंग्या मुसलमानों को बर्गला कर आतंकी बनाता था.
पुलिस के मुताबिक सीरिया के बाद ये आतंकी बांग्लादेश आ गया, जहां इसकी गिरफ्तारी हो गई. बांग्लादेश में जेल से छूटने के बाद इसने अल कायदा के लीडर्स के कहने पर हिंदुस्तान का रुख किया और यहां रहकर म्यामार सेना से लड़ने के लिए बेस बनाने लगा. इससे पहले ये अपनी प्लानिंग को अंजाम दे पाता पुलिस ने इसे गिरफ्तार कर लिया है.
शमी उर रहमान: अल कायदा का संदिग्ध आतंकी
- संदिग्ध आतंकी इंटरनेट के जरिए अपने आकाओं से जुड़ा रहता था. फेसबुक के जरिए लोगों को बर्गला कर आतंकी बनाता था. इसे साइट हैक करना आता है.
- सुभान हक के पिता बांग्लादेशी हैं, जो बाद में ब्रिटेन चले गए. इसने 12वीं तक पढ़ाई की है. इसके बाद वह आतंकी गतिविधियों में शामिल हो गया था.
- वेस्ट बंगाल और साउथ इंडिया के लोग ज्यादातर इसके निशाने पर होते थे. इसने 12 से अधिक लोगों का ब्रेन वॉश करके कट्टरपंथी बनाया है.
- अल कायदा बांग्लादेशी लोगों को ट्रेनिंग देकर म्यांमार के खिलाफ लड़ने के लिए तैयार करना चाहता था.
- इसके लिए यह मिजोरम में एक ट्रेनिंग कैंप की स्थापना करके रोहिंग्या मुसलमानों को ट्रेनिंग देना चाहता था.
- इस आतंकी ने स्वीकार किया है कि इसने एक दर्जन से अधिक बांग्लादेशियों का ब्रेन वॉश करके आतंकी बनाया है.