जेएनयू छात्र नजीब अहमद मामले में दिल्ली पुलिस ने उस ऑटो चालक का पता लगाने का दावा किया है, जिनके ऑटो से नजीब आखिरी बार जेएनयू से निकला था. जेएनयू के एक प्रोफेसर ने ही पुलिस को बताया था कि नजीब 15 अक्टूबर को यूनिवर्सिटी से बाहर ऑटो में गया था. तभी से पुलिस कथित ऑटो चालक की तलाश में जुटी थी.
ऑटो चालक ने नजीब के पोस्टर देखकर उसकी पहचान की. ऑटो चालक ने पुलिस को बताया कि 15 अक्टूबर की रात वह जेएनयू के बाहर खड़ा था. तभी नजीब उसके ऑटो में आकर बैठा और जामिया मिलिया इस्लामिया चलने के लिए कहा. ऑटो चालक ने बताया कि इस दौरान नजीब ऑटो में खामोश बैठा रहा. उसने फोन पर भी किसी से बात नहीं की.
पुलिस अब यह पता लगाने की कोशिश में जुटी है कि आखिर नजीब जामिया इलाके में किससे मिलने गया था. इस मामले की जांच कर रही क्राइम ब्रांच ने जामिया प्रशासन से मदद मांगी है. क्राइम ब्रांच के सीपी रविंद्र यादव ने कहा कि जामिया के अंदर कई सीसीटीवी कैमरे लगे हैं, जिनकी मदद से नजीब का पता लगाया जा सकता है.
सीसीटीवी फुटेज खंगालने में जुटी पुलिस को उम्मीद है कि अब वह जल्द नजीब तक पहुंच जाएगी. वहीं दिल्ली पुलिस के कमिश्नर आलोक कुमार वर्मा ने नजीब का पता बताने वाले को 5 लाख रुपये इनाम देने की घोषणा की है. गौरतलब है कि इससे पहले यह राशि दो लाख रुपये थी. फिलहाल क्राइम ब्रांच की कई टीम नजीब की तलाश में जुटी हुई हैं.