ग्रेटर नोएडा में नाइजीरियाई छात्रों पर हुए हमले में पुलिस ने पांच लोगों को गिरफ्तार कर लिया है. वहीं इस केस में तकरीबन 1200 अज्ञात लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया गया है. पुलिस ने इस मामले में 10 लोगों के खिलाफ नामजद रिपोर्ट भी दर्ज की है. पुलिस की तफ्तीश जारी है.
पुलिस ने वीडियो रिकॉर्डिंग के जरिए 54 लोगों की पहचान की है. पुलिस चिन्हित किए गए लोगों की तलाश में जुटी है. कानून व्यवस्था किसी भी हाल में बिगड़ने न पाए इसके लिए मंगलवार को ग्रेटर नोएडा में पुलिस ने फ्लैग मार्च कर व्यवस्था का जायजा लिया. वहीं पीड़ित छात्रों ने विदेश मंत्री सुषमा स्वराज को ट्वीट कर सुरक्षा की मांग की.
सुषमा स्वराज ने ट्वीट का दिया जवाब
सुषमा स्वराज ने भी ट्वीट का जवाब देते हुए छात्रों से तुरंत कार्रवाई का वादा किया. स्वराज ने यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से इस सिलसिले में बात की. विदेश मंत्री ने ट्वीट किया कि उन्होंने सीएम योगी आदित्यनाथ से बात की. सीएम ने उन्हें छात्रों की सुरक्षा का आश्वासन देते हुए आश्वस्त किया है कि इस घटना की निष्पक्ष जांच कराई जाएगी.
I have spoken to Yogi Adityanath ji Chief Minister of Uttar Pradesh about attack on African students in Greater Noida. /1
— Sushma Swaraj (@SushmaSwaraj) March 28, 2017
17 साल के मनीष की मौत हो गई थी
बताते चलें कि 25 मार्च को ग्रेटर नोएडा निवासी मनीष (17 साल) की मौत हो गई थी. बताया जा रहा है कि ड्रग्स के ओवरडोज की वजह से मनीष की मौत हुई थी. मनीष के पिता ने नाइजीरियाई मूल के उस्मान अब्दुल कादिर, मोहम्मद आमिर, सईद कबीर, अब्दुल उस्मान और सईद अबु वकार के खिलाफ थाने में हत्या का केस दर्ज कराया था.
मॉल में घूम रहे छात्रों पर किया हमला
27 मार्च को विरोध प्रदर्शन के दौरान पास के मॉल में घूम रहे कुछ नाइजीरियन छात्रों पर प्रदर्शनकारियों ने हमला कर दिया था. जिसके बाद इस मामले ने नस्लीय हिंसा का रूप ले लिया. ग्रेटर नोएडा में रहने वाले नाइजीरियाई छात्रों को दौड़ा-दौड़ाकर पीटा गया. प्रदर्शनकारियों ने कई गाड़ियों में तोड़फोड़ भी की. मौके पर पहुंची पुलिस को हालात पर काबू पाने के लिए लाठीचार्ज करना पड़ा था.
विदेश मंत्रालय के संपर्क में हैं नाइजीरिया उच्चायोग
घटना के बाद नाइजीरिया उच्चायोग के अधिकारियों ने घायल नागरिकों से मुलाकात की. छात्रों ने उच्चायोग अधिकारियों से कहा कि वे लोग अब यहां असुरक्षित महसूस कर रहे हैं. उच्चायोग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि वह लोग इस संबंध में विदेश मंत्रालय के संपर्क में हैं. विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गोपाल बाग्ले ने बयान जारी करते हुए कहा कि सरकार भारत में रहने वाले सभी विदेशियों की सुरक्षा को लेकर प्रतिबद्ध है और छात्रों सहित अफ्रीका के लोग हमारे मूल्यवान सहयोगी हैं.