गुजरात के कच्छ नलिया गैंगरेप केस में पीड़िता ने सोमवार को गुजरात हाई कोर्ट में एक याचिका दाखिल की. पीड़िता ने याचिका के जरिए केस की जांच सीबीआई, सीआईडी या फिर एसआईटी को सौंपने की मांग की है.
गैंगरेप के इस मामले की जांच को लेकर गुजरात हाई कोर्ट ने गुजरात सरकार को कारण बताओ नोटिस जारी किया है. हाई कोर्ट ने मामले की जांच से जुड़े सभी दस्तावेज कोर्ट में पेश करने का आदेश दिया है. इस केस की अगली सुनवाई 31 मार्च को की जाएगी.
पहचान उजागर करने वाले पुलिसकर्मी पर सख्त कार्रवाई का आदेश
हाई कोर्ट ने पीड़िता की पहचान उजागर करने वाले पुलिसकर्मी के खिलाफ भी कड़ी कार्रवाई के आदेश दिए हैं. गौरतलब है कि कच्छ के नलिया इलाके की रहने वाली पीड़िता ने 25 जनवरी को गैंगरेप की शिकायत दर्ज कराई थी. पीड़िता की शिकायत के बाद पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया था.
बीजेपी कार्यकर्ताओं का आया था नाम
दरअसल इस केस में कुछ हाईप्रोफाइल शख्सियतों और बीजेपी कार्यकर्ताओं का नाम सामने आया था. मामले के तूल पकड़ते ही राज्य सरकार ने इसकी जांच के लिए एसआईटी का गठन किया था. आरोपियों के देश छोड़कर भागने की आशंका के चलते पुलिस ने सभी राज्यों के एयरपोर्ट पर लुक आउट नोटिस जारी किया था.
2015 में पहली बार किया था गैंगरेप
गौरतलब है कि महिला के साथ गैंगरेप की पहली वारदात साल 2015 में हुई थी. पीड़िता एक गैस एजेंसी पर काम करती थी. पीड़िता का आरोप है कि जब दिवाली पर उसने एजेंसी मालिक से एडवांस सैलरी की मांग की तो उसने पीड़िता से घर आकर पैसे लेने की बात कही.
रेप करने से पहले देते थे ड्रग्स
पीड़िता के घर पहुंचने के बाद आरोपियों ने उसे कोल्ड ड्रिंक में नशीला पदार्थ मिलाकर पिला दिया और फिर उसके साथ गैंगरेप किया. इस दौरान आरोपियों ने पीड़िता का अश्लील वीडियो भी बनाया. जिसे वायरल करने की धमकी देकर आरोपी पिछले डेढ़ साल से पीड़िता को ब्लैकमेल कर रहे थे. पीड़िता की मानें तो आरोपी हर बार उसके साथ रेप करने से पहले उसे ड्रग्स देते थे. फिलहाल एसआईटी मामले की जांच कर रही है.