हाईवे के सबसे बड़े सीरियल किलर गैंग के चार और सदस्य भोपाल पुलिस की एसआईटी के हत्थे चढ़ गए हैं. इनमें से सबसे मुख्य आरोपी साहब सिंह है, जो गैंग के खुलासे के बाद से अभी तक फरार चल रहा था. चारों तरफ से घिरने के बाद आखिरकार कुछ दिन पहले उत्तर प्रदेश के गाजीपुर में साहब सिंह ने सरेंडर कर दिया.
इस मामले में पुलिस अब तक आदेश खामरा समेत कुल 12 आरोपियों को गिरफ्तार कर चुकी है. खामरा के बयान में साहब सिंह का जिक्र बार-बार हो रहा था, लेकिन पुलिस के सामने परेशानी थी कि उसका हुलिया और उसके ठहरने की जगह एक न होने के चलते वह पकड़ में नहीं आ रहा था.
भोपाल पुलिस के एसआईटी ने साइंटिफिक तरीके से सर्विलांस और खूफिया सूत्रों का ऐसा जाल बिछाया कि साहब सिंह को सरेंडर करना ही पड़ा. साहब सिंह लूटे गए ट्रक को खरीदता था और उसे आगे बेच देता था.
भोपाल आईजी जयदीप प्रसाद ने बताया कि साहब सिंह की निशानदेही पर झांसी निवासी परमजीत उर्फ बिल्ला सरदार और बबलू उर्फ यशपाल परिहार के अलावा कानपुर निवासी गुरुबक्श सिंह बरारा उर्फ लक्की को गिरफ्तार कर लिया गया है और इन्हें लेकर पुलिस भोपाल आ चुकी है.
पुलिस के मुताबिक, गिरोह के पकड़े गए सदस्यों ने महाराष्ट्र, मध्यप्रदेश, कर्नाटक और आंध्र प्रदेश में कुल 16 चोरी और लूटपाट की घटनाओं को कबूल कर किया है.
इनमें से सबसे ज्यादा आठ घटनाएं महाराष्ट्र में, छह मध्यप्रदेश में, एक कर्नाटक में और एक आंध्रप्रदेश में अंजाम देने की बात को गिरोह ने कबूली है. हालांकि, इस दौरान हत्या किए जाने की बात अब तक सामने नहीं आई है.
इस हाईप्रोफाइल मामले में भोपाल पुलिस की जांच और कार्रवाई पर डीजीपी ऋषि कुमार शुक्ला ने पूरी टीम को बधाई दी है और इनाम देने का आश्वासन दि-या है.