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कॉसमॉस बैंक को करोड़ों का चूना लगाने वाले आरोपी गिरफ्तार, मास्टरमाइंड की तलाश में पुलिस

पुणे की साइबर सेल को बड़ी कामयाबी मिली है जब उसने एटीएम से करोड़ों की चपत लगाने वाले आरोपियों को अपनी गिरफ्त में ले लिया. इन आरोपियों के जरिए पुलिस अब मास्टरमाइंड को पकड़ने की योजना बना रही है.

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सांकेतिक तस्वीर
सांकेतिक तस्वीर

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पुणे पुलिस की ओर से गिरफ्तार किए गए एटीएम से करोड़ों रुपए चुराने वाले चारों आरोपियों को कोर्ट ने पुलिस हिरासत में भेज दिया है. आरोपियों ने यह स्वीकार किया है कि उन्होंने कई और बैंकों के एटीएम से करोड़ों रुपए की चोरी की है.

मंगलवार को आरोपी फहीम खान, शेख मोहम्मद, नरेश महाराणा और यूस्टेस अगस्तिस वाझ एंथानी को अदालत में पेश करके उन्हें अतिरिक्त चार दिनों के पुलिस कस्टडी में भेज दिया गया है. पुणे पुलिस ने अपनी रिमांड रिपोर्ट में कहा कि इन चारों के जरिए ही मास्टर माइंड तक पहुंचना है. साथ ही में इन आरोपियों ने यह भी कबूला है कि उन्होंने देश के और चार बैंकों से ऐसे ही करोड़ों रुपए चुराए हैं.

पुणे साइबर सेल की प्रमुख सहायक पुलिस आयुक्त ज्योति प्रिया सिंह ने आज तक से विशेष बातचीत में कहा कि कॉसमॉस को-ऑपरेटिव बैंक के आरोपियों ने चेन्नई के सिटी बैंक के अनेक एटीएम से करीब 34 करोड़ रुपए चुराए हैं. दिसंबर 2017 में चेन्नई के बैंकधारकों के एटीएम कार्ड की क्लोनिंग करके बंगलुरू के कई एटीएम से इन्हीं चार आरोपियों और उनके कुछ साथियों ने 34 करोड़ रुपए चुराए थे.

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पुलिस के मुताबिक स्विच का बोगस सर्वर बनाकर 3 पेमेंट गेटवे को गलत जानकारी देकर कुल 94 करोड़ 42 लाख रुपए कॉसमॉस बैंक से चोरी कर लिए गए थे.

उन्होंने बताया कि चेन्नई पुलिस पिछले 9 महीनों से पूरी तफ्तीश में जुटी हुई थी, लेकिन अब पुणे पुलिस द्वारा किए गए खुलासे के बाद चेन्नई पुलिस पुणे से इन चार आरोपियों की कस्टडी लेकर उनसे चेन्नई के सिटी बैंक चोरी की तफ्तीश करेंगी. अब तक इस मामले में 7 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है.

अब तक ढाई लाख बरामद

पुलिस ने इन आरोपियों के पास से अब तक 2 लाख 48 हजार रुपए बरामद किए हैं, जिसमें से एक आरोपी के पास से 2 लाख रुपए बरामद किए गए जबकि दूसरे आरोपी के बैंक खाते में 48 हजार रुपए थे. आरोपी के खाते को फ्रीज कर दिया गया है.

ज्योति प्रिया सिंह ने बताया कि पुलिस की पूछताछ के दौरान इन चारों ने कबूला कि उन्होंने किस तरह से बंगलुरू के अनेक एटीएम से पैसे चुराए थे. उनके इस अपराध की पुष्टि तब हुई जब चेन्नई पुलिस ने भेजे हुए एटीएम सेंटर के सीसीटीवी फुटेज में ये चारों पैसे निकालते हुए दिखाई देखे.

डीसीपी ज्योति प्रिया सिंह ने बताया कि यह चारों आरोपी पिछले एक साल से एक-दूसरे को पहचानते हैं. बैंक में साइबर हमला कर पैसा निकालने के मामले में यह गैंग काफी सक्रिय है. देश के लगभग 2,800 ट्रांजेक्शन से ढाई सौ करोड़ निकाले जाने के अलावा पुलिस द्वारा अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पत्र व्यवहार भी किया जा रहा है.

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इस पत्र व्यवहार का 3 देशों के बैंक और पुलिस से सपोर्ट करने के लिए जवाब भी आए हैं. अंतरराष्ट्रीय स्तर पर 28 देशों से पैसा निकाला गया था. इन 28 देशों के 72 शहरों के एटीएम से करीब 78 करोड़ रुपए निकाले गए थे.

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