सबरीमाला मंदिर में महिलाओं के प्रवेश पर सुप्रीम कोर्ट का कमेंट आने के बाद इंडियन यंग लायर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष को जान से मारने की धमकियां मिल रही हैं. एसोसिएशन की याचिका पर कोर्ट ने कहा था कि धार्मिक आधार के अपवाद को छोड़कर मंदिर में किसी भी महिला श्रद्धालु को पूजा-अर्चना करने से नहीं रोका जा सकता है. इस पर अगली सुनवाई आठ फरवरी को होगी.
जानकारी के मुताबिक, इंडियन यंग लायर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष अधिवक्ता नौशाद खान को फोन पर देश-विदेश से लगातार धमकियां दी जा रही है. उनका कहना है कि सोमवार को फैसला आने के बाद उनके फोन पर सैकड़ों अनजान फोन आ चुके हैं. उन पर याचिका वापस लेने का दबाव डाला जा रहा है. वापस नहीं लेने की सूरत में उन्हें जान से मारने की धमकी दी जा रही है.
थाने में दर्ज कराई धमकी की शिकायत
नौशाद ने कहा कि सोशल मीडिया पर उनके नाम को गलत तरीके से फैलाया जा रहा है. व्हाट्सएप पर धमकी भरे मैसेज आ रहे हैं. कोई शरारती संगठन उनके नाम का इस्तेमाल कर दोनों समुदायों में गलतफहमियां पैदा करने की कोशिश कर रहा है. हालांकि, उनका कहना है कि इस याचिका से उनका कोई लेना-देना नहीं है. इस संबंध में उन्होंने शकरपुर थाने में अपनी शिकायत दर्ज कराई है.
मंदिर में महिलाओं का प्रवेश है वर्जित
न्यायमूर्ति दीपक मिश्रा, न्यायमूर्ति पिनाकी चंद्र घोष और न्यायमूर्ति एन.वी. रमना की पीठ ने इंडियन यंग लायर्स एसोसिएशन की ओर से पांच महिला वकीलों द्वारा दायर याचिका पर सुनवाई के दौरान कहा था कि महिलाओं को पूजा करने से नहीं रोका जा सकता. इस एसोसिएशन ने सबरीमाला अयप्पन मंदिर की उस प्रथा को चुनौती दी है, जिसके तहत 10 से 50 साल तक की महिलाओं का प्रवेश वर्जित है.
मकर संक्रांति की रात जलती है ज्योति
बताते चलें कि सबरीमाला में अय्यप्पा स्वामी मंदिर केरल में है. इसके पास मकर संक्रांति की रात घने अंधेरे में एक ज्योति दिखती है. इस ज्योति के दर्शन के लिए दुनियाभर से करोड़ों श्रद्धालु हर साल आते हैं. बताया जाता है कि जब-जब ये रोशनी दिखती है इसके साथ शोर भी सुनाई देता है. इस खास घटना को देखने के लिए आने वाले भक्त मानते हैं कि ये देव ज्योति है. इसे भगवान जलाते हैं.