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स्वदेशी एंटी-टैंक मिसाइल का पोखरण में सफल परीक्षण, मौत का नया नाम MP-ATGM

राजस्थान के जैसलमेर स्थित पोखरण फील्ड फायरिंग रेंज में DRDO ने स्वदेशी एंटी-टैंक गाइडेड मिसाइल MP-ATGM का सफल परीक्षण किया. यह ऐसा हथियार है, जिसका डर दुश्मन के टैंकों और बख्तरबंद गाड़ियों को चलाने वाले को होगा. इसे भविष्य में भारतीय टैंकों में भी लगाया जा सकता है.

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ये है स्वदेशी मैन पोर्टेबल एंटी-टैंक गाइडेड मिसाइल, जिसका परीक्षण पोखरण में किया गया है. (फाइल फोटोः डीआरडीओ)
ये है स्वदेशी मैन पोर्टेबल एंटी-टैंक गाइडेड मिसाइल, जिसका परीक्षण पोखरण में किया गया है. (फाइल फोटोः डीआरडीओ)

DRDO ने राजस्थान के पोखरण फील्ड फायरिंग रेंज में स्वदेशी मैन-पोर्टेबल एंटी-टैंक गाइडेड मिसाइल (MPATGM) का सफल परीक्षण किया. इसका Video भी सामने आया है. जिसे आप यहां नीचे देख सकते हैं... यह मिसाइल दुश्मन के टैंकों और बख्तरबंद वाहनों की धज्जियां उड़ा सकती है. 

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भविष्य में इसे मुख्य युद्धक टैंक अर्जुन में भी तैनात किया जाएगा. पोखरण के परीक्षण में MPATGM ने पूरी सटीकता के साथ टारगेट पर निशाना लगाया. इस स्वदेशी एंटी-टैंक मिसाइल में टैंडम हाई एक्सप्लोसिव एंटी-टैंक (HEAT) हथियार लगा है, जो अत्याधुनिक एक्सप्लोसिव रिएक्टिव आर्मर (ERA) कवच वाले बख्तरबंद वाहनों को छेद सकता है. यानी आज के जमाने का कोई टैंक या बख्तरबंद वाहन इससे बच नहीं सकता. 

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MP-ATGM, DRDO, Indian Army

इसके कई ट्रायल्स हो चुके हैं. इसका वजन 14.50 kg है. लंबाई 4.3 फीट है. इसे दागने के लिए दो लोगों की जरूरत होती है. इसकी रेंज 200 मीटर से लेकर 2.50 km है. इसमें टैंडम चार्ज हीट और पेनेट्रेशन वॉरहेड लगा सकते हैं. सेना में इसके शामिल होने के बाद फ्रांस में बनी मिलन-2टी और रूस में बनी कॉन्कर्स एंटी-टैंक गाइडेड मिसाइलों के पुराने वर्जन को हटाया जाएगा. 

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