जैश-ए-मोहम्मद (JeM) प्रमुख मसूद अजहर जिसे कई मीडिया रिपोर्टों में 'मृत' या फिर 'बिस्तर पर बेजान पड़ा हुआ' बताया जा चुका है, वह पाकिस्तान में खुलेआम घूम रहा है. इतना ही नहीं, यहां तक कि वो शादी समारोहों में भी शामिल हो रहा है. इंडिया टुडे की OSINT टीम द्वारा JeM से जुड़े मल्टीमीडिया क्लिप के फोरेंसिक विश्लेषण से यह जानकारी सामने आई है.
जम्मू और कश्मीर में हाल में हुए आतंकवादी हमलों ने एक बार फिर स्थानीय आतंकवादी संगठनों की आड़ में काम कर रहे JeM से जुड़े आतंकवादी के शामिल होने की ओर इशारा किया है. इस साल 1 जनवरी के बाद से फिर से शुरू हुए आतंकवादी घटनाओं में सेना के एक मेजर सहित 12 सुरक्षाकर्मी और 10 नागरिक अपनी जान गंवा चुके हैं. इसके अलावा कम से कम 55 लोग घायल हुए हैं. खुफिया आकलन में इनमें से कुछ बड़े हमलों में पाकिस्तान स्थित JeM जैसे आतंकवादी संगठनों की ओर इशारा किया है.
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संयुक्त राष्ट्र (UN) सहित कई अन्य देशों द्वारा वैश्विक आतंकवादी घोषित किए गए मसूद अजहर ने हाल ही में पाकिस्तान के बहावलपुर में एक शादी समारोह में हिस्सा लिया और भाषण भी दिया. 27 जून को इस गैरकानूनी संगठन के प्रमुख ने एक शादी में भाग लिया और अपने भाषण की शुरुआत 'कश्मीर और फिलिस्तीन के जिहाद में अपने प्राणों की आहुति देने वालों' को श्रद्धांजलि देकर की. आपको बता दें कि मसूद अजहर को अप्रैल 2019 के बाद से किसी सार्वजनिक सभा में नहीं देखा गया था. उस समय वो पेशावर स्थित अपने घर में हुए विस्फोट से सुरक्षित बच निकला था.
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आत्मघाती हमलों का समर्थन कर रहा है जैश-ए-मोहम्मद
इस सभा में मसूद अजहर के भाषण की एक क्लिप जैश-ए-मोहम्मद से जुड़े चैनलों द्वारा सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर अपलोड की गई. फिदायीन बनने की चाहत रखने वालों के लिए भी शादी के महत्व की वकालत करते हुए अजहर को यह कहते हुए सुना जा सकता है कि 'निकाह बहुत आसान हुआ करता था… एक तरफ युद्ध होता था और दूसरी तरफ निकाह होता था. पुरुष गुस्ल (संभोग के बाद पूरे शरीर को शुद्ध करने के लिए अरबी भाषा में इस्तेमाल होने वाला शब्द) से सीधे युद्ध में चले जाते थे. शहादत प्राप्त करते थे.
आज साथी मुझे लिखते हैं कि उन्होंने फिदायी (बलिदान होने के लिए) बनने का संकल्प लिया है, लेकिन परिवार के सदस्य शादी के लिए कहते रहते हैं, उन्हें क्या करना चाहिए? अगर यह इस्लाम और कुरान का पुराना समय होता, तो मैं उन्हें शादी करने और एक या दो दिन बाद फिदायी काम करने के लिए कह सकता था…लेकिन आज के दौर में यह संभव नहीं है. आज वे दोनों नहीं कर सकते… हमने पुराने तौर-तरीकों को छोड़कर खुद को इनसे दूर कर लिया है.'
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फोरेंसिक जांच में सामने आई ये बात
इंडिया टुडे ने जब क्लिप के मेटाडेटा का विश्लेषण किया तो पता चला कि इसे मूल रूप से 27 जून को रात 8:07 बजे (पाकिस्तान के टाइम ज़ोन से मेल खाते समय में) रिकॉर्ड किया गया था. इसे एडोब ऑडिशन (ऑडियो एडिटिंग सॉफ्टवेयर) की मदद से पहले एडिट किया गया और बाद में 29 जून की सुबह उसी टाइम ज़ोन क्षेत्र से इंटरनेट पर अपलोड किया गया. एडिटिंग में उपयोग किए गए सॉफ़्टवेयर का वर्जन मई 2022 में जारी किया गया था और इसे विंडोज कंप्यूटर पर इंस्टॉल किया गया था.
क्लिप में मसूद अजहर की आवाज के नमूने की पुष्टि करने के लिए इंडिया टुडे ने पायनोट का इस्तेमाल किया. पायनोट एक पायथन-आधारित ओपन-सोर्स स्पीकर डायराइज़ेशन टूल जो ऑडियो फ़ाइलों को अलग-अलग फिल्टर के आधार पर अलग करता है. हाल ही के इस क्लिप की तुलना अजहर से संबंधित पहले के सत्यापित ऑडियो सैंपल से की गई. जिसके बाद दोनों के बीच काफी समानता पाई गई.
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खुफिया सूत्रों ने इंडिया टुडे को बताया है कि आतंकवादी मसूद अजहर के आतंकी गुर्गों ने , जिसकी पाकिस्तान में ट्रेनिंग हुई है, हमलों को स्वदेशी रंग देने और पाकिस्तान को भविष्य में वैश्विक प्रतिबंधों से बचाने के लिए खुद को कश्मीर टाइगर्स से जोड़ लिया. कश्मीर टाइगर्स हाल ही गठित कश्मीरी आतंकवादी संगठन है. इससे पहले अक्टूबर 2022 में फाइनेंशियल एक्शन टास्क फोर्स (FATF) ने आतंकवादियों को मिलने वाले वित्तीय सहायता में सख्ती बरतने के कारण पाकिस्तान को ग्रे सूची से हटा दिया गया था. इसी हफ्ते की शुरुआत में पाकिस्तान और अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) के बीच एक समझौता भी हुआ जिसमें पाक को लंबे समय से चले आ रहे आर्थिक संकट से उबारने के लिए 37 महीने के लिए 7 बिलियन डॉलर की मदद शामिल है. (इनपुट्स- जैनम शाह)