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ICBM Sentinel: अमेरिका ने बनाई नई परमाणु मिसाइल, चीन-रूस के लिए खड़ी की मुसीबत

अमेरिकी वायु सेना ने नॉर्थ्रॉप ग्रुमैन के साथ मिलकर एक नए और उन्नत मिसाइल सिस्टम का सफल परीक्षण किया है. यह सेंटिनल मिसाइल सिस्टम अमेरिका की परमाणु निरोधक क्षमता को मजबूत करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा.

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सेंटीनल मिसाइल के रॉकेट मोटर का स्टेटिक फायर टेस्ट करते हुए. (फोटोः अमेरिकी रक्षा मंत्रालय)
सेंटीनल मिसाइल के रॉकेट मोटर का स्टेटिक फायर टेस्ट करते हुए. (फोटोः अमेरिकी रक्षा मंत्रालय)

सेंटिनल आईसीबीएम अमेरिका की नई पीढ़ी की मिसाइल प्रणाली है, जो 1960 के दशक की पुरानी मिनटमैन III मिसाइलों को बदलेगी. यह अमेरिकी परमाणु निरोध क्षमता को मजबूत करने के लिए डिज़ाइन किया गया है. आने वाले दशकों में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी. 

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सेंटिनल कार्यक्रम अमेरिकी परमाणु प्रोग्राम है, जिसमें पनडुब्बी-लॉन्च की गई बैलिस्टिक मिसाइलें (SLBM) और रणनीतिक बमवर्षक शामिल हैं. एक बार पूरी तरह से तैनात होने के बाद, सेंटिनेल मिसाइल प्रणाली आने वाले दशकों में अमेरिकी परमाणु निरोध को बनाए रखने में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी. 

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मिनटमैन III आईसीबीएम को बदलना जरूरी है क्योंकि यह 60 से अधिक वर्षों से सेवा में है. इसकी उम्र के कारण इसकी देखभाल करना मुश्किल और महंगा हो गया है. रूस और चीन जैसे देशों से नए खतरों के साथ, एक आधुनिक और मजबूत आईसीबीएम क्षमता की जरूरत है.

रॉकेट मोटर का टेस्ट किया

सेंटिनेल मिसाइल के पहले चरण का सफल परीक्षण एक बड़ी उपलब्धि है. यह परीक्षण दिखाता है कि मिसाइल का डिज़ाइन सही है. इसके प्रणोदन प्रणाली की योग्यता प्राप्त करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है. इससे पहले दूसरे और तीसरे चरणों के सफल परीक्षण से भी सेंटिनेल के विकास में अच्छी प्रगति हुई है.

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USAF, sentinel ICBM

पूर्ण पैमाने पर full-scale static fire test ने सेंटिनेल मिसाइल की विश्वसनीयता और तैनाती के लिए तैयारी को सुनिश्चित किया. यह परीक्षण मिसाइल के उत्पादन और आने वाले वर्षों में तैनाती की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है. 

सेंटीनल की खासियत

इस मिसाइल में 475 किलोटन टीएनटी जितनी ताकत वाला परमाणु हथियार लगा सकते हैं. इसे कोलंबिया क्लास सबमरीन या ओहायो क्लास सबमरीन में लगा सकेंगे. B-21 बॉम्बर में भी तैनात कर सकेंगे. 

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मिनटमैन की रेंज 10 हजार km, स्पीड 28,200 km/hr 

रूस और चीन इस मिसाइल से डरते हैं. इस मिसाइल की रेंज 10 हजार किलोमीटर है. यह अधिकतम 1100 km की ऊंचाई तक जा सकती है. यानी अंतरिक्ष में भी किसी भी सैटेलाइट को ध्वस्त कर सकती है. मिसाइल की स्पीड ही इसे सबसे ज्यादा खतरनाक बनाती है. यह 28,200 किलोमीटर प्रतिघंटा की गति से चलती है. 

एकसाथ कई टारगेट्स पर हमला करने लायक

इसे लॉन्च करने के लिए जमीन में बने साइलो (Silo) का उपयोग करना पड़ता है. यह मिसाइल आकार में भी विशालकाय है. यह करीब 60 फीट लंबी है. इसका व्यास 5.6 फीट का है. तीन स्टेज के सॉलिड फ्यूल रॉकेट इंजन से उड़ती है ये मिसाइल. यह एकसाथ एक या उससे ज्यादा टारगेट्स पर हिट कर सकती है. 

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