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जानिए क्‍या है बीटिंग रिट्रीट

बीटिंग रिट्रीट का आयोजन गणतंत्र दिवस समारोह के तीसरे दिन 29 जनवरी की शाम किया जाता है. यह गणतंत्र दिवस समारोह की समाप्ति का सूचक होता है.

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Beating Retreat ceremony
Beating Retreat ceremony

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बीटिंग रिट्रीट गणतंत्र दिवस समारोह की समाप्ति का सूचक है. इसमें थल सेना, वायु सेना और नौसेना के बैंड पारंपरिक धुन बजाते हुए मार्च करते हैं. इस साल के आयोजन में 15 मिलेट्री बैंड और 21 पाइप एंड ड्रम बैंड हिस्सा ले रहे हैं.

जानें बीटिंग रिट्रीट संबंधित कुछ खास बातें...

1. बीटिंग रिट्रीट का आयोजन गणतंत्र दिवस समारोह के तीसरे दिन 29 जनवरी की शाम को किया जाता है. यह 26 जनवरी को शुरू हुए समारोह के समाप्‍त होने का सूचक है.

2. इसका आयोजन राष्‍ट्रपति भवन रायसीना हिल्स में किया जाता है, जिसके चीफ गेस्‍ट राष्‍ट्र‍पति होते हैं.

3. 26 जनवरी से 29 जनवरी के बीच राष्‍ट्रपति भवन समेत सरकारी भवनों सजावट की जाती है.

4. इस आयोजन में तीनों सेनाएं (आर्मी, नेवी, एयरफोर्स) एक साथ मिलकर सामूहिक बैंड का कार्यक्रम प्रस्‍तुत करती हैं. साथ ही परेड भी होती है.

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5. 1950 से अब तक भारत के गणतंत्र बनने के बाद बीटिंग द रिट्रीट कार्यक्रम को दो बार रद्द करना पड़ा है. पहला 26 जनवरी 2001 को गुजरात में आए भूकंप के कारण और दूसरी बार ऐसा 27 जनवरी 2009 को देश के आठवें राष्ट्रपति वेंकटरमन का लंबी बीमारी के बाद निधन हो जाने पर किया गया.

6. 'सारे जहां से अच्‍छा गाने' की धुन के साथ कार्यक्रम का समापन होता है.

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