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कला क्षेत्र के इस दिग्गज का आज है जन्मदिन, पेंटिंग्स की कई नई शैलियों का किया था ईजाद

आज का दिन एक ऐसे कलाकार से जुड़ा है, जिनका नाम की चित्रकारी का पर्याय बन गई. कला की दुनिया में इस हस्ती ने एक नए युग की शुरुआत की थी. इनका नाम है पाब्लो पिकासो, आज 25 अक्टूबर को ही इनका जन्म हुआ था.

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आज है पाब्लो पिकासो का जन्मदिन  (फोटो - Getty)
आज है पाब्लो पिकासो का जन्मदिन (फोटो - Getty)

आज 25 अक्टूबर को पाब्लो पिकासो का जन्मदिन है . आज के दिन ही 1881 में स्पेन के मालगा में इनका जन्म हुआ था.  ये 20वीं सदी के सबसे महान और प्रभावशाली कलाकारों में से एक थे. पिकासो ने 13 साल की उम्र में अपनी पहली प्रदर्शनी लगाई थी. 

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पिकासो के पिता ड्राइंग के प्रोफेसर थे और उन्होंने अपने बेटे को अकादमिक कला में करियर बनाने के लिए तैयार किया. पिकासो ने बाद में आधुनिक कला शैलियों के साथ काफी प्रयोग किये. वह पहली बार 1900 में पेरिस गए और 1901 में पेरिस के रुए लाफ़िटे पर एक गैलरी में उनकी प्रदर्शनी लगाई गई.

19 साल की उम्र में ही बना ली थी सैकड़ों पेंटिंग्स
19 वर्षीय स्पेनवासी पिकासो की उस समय बार्सिलोना के बाहर उतनी पहचान नहीं बनी थी, लेकिन उन्होंने पहले ही सैकड़ों पेंटिंग बना ली थीं. इसके बाद वह कई वर्षों तक पेरिस में रहे और बाद में स्थायी रूप से अपने शहर लौट आए. पिकासो ने 80 वर्षों में  50,000 से अधिक पेंटिंग, रेखाचित्र और मूर्तियां बनाईं. 

चित्रकला को लेकर किये कई सारे प्रयोग
उन्होंने अपने चित्रों में गरीब लोगों की दुनिया का दृश्यांकन किया. द ओल्ड गिटारिस्ट (1903) जैसी कृतियों में, पिकासो ने गरीबों की उदासी भरी दुनिया को उभारने के लिए नीले रंग में पेंटिंग की. 1907 में, पिकासो ने अभूतपूर्व कृति लेस डेमोइसेल्स डी'एविग्नन को चित्रित किया, जो मानव रूप के खंडित और विकृत प्रतिनिधित्व के साथ, पिछली यूरोपीय कला से अलग थी. लेस डेमोइसेल्स डी'एविग्नन पर पिकासो ने अफ्रीकी मुखौटा कला और पॉल सेज़ेन दोनों के प्रभाव को प्रदर्शित किया. इसे क्यूबिस्ट आंदोलन के अग्रदूत के रूप में देखा जाता है.

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कोलाज शैली का किया आविष्कार
पिकासो के प्रमुख क्यूबिस्ट कार्यों में सर्गेई डायगिलेव के बैले रूसेस (1917) और द थ्री म्यूज़िशियन (1921) के लिए उनकी वेशभूषा और सेट शामिल थे. पिकासो और ब्रेक के क्यूबिस्ट प्रयोगों के परिणामस्वरूप कोलाज सहित कई नई कलात्मक तकनीकों का आविष्कार हुआ. 1937 में उनकी मास्टरपीस ग्वेर्निका में  बास्क शहर  द्वारा झेली गई भयावहता और पीड़ा को दर्शाया. जब इसे स्पेनिश गृहयुद्ध के दौरान जर्मन  विमानों द्वारा नष्ट कर दिया गया था. पिकासो नाजी कब्जे के दौरान पेरिस में रहे, लेकिन फासीवाद के कट्टर विरोधी थे और युद्ध के बाद फ्रांसीसी कम्युनिस्ट पार्टी में शामिल हो गए.

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उन्होंने चीनी मिट्टी की वस्तुओं के साथ प्रयोग किए और कला के इतिहास में अन्य महारथियों की कृतियों पर विभिन्न प्रकार की पेंटिंग बनाईं.1973 में 91 वर्ष की आयु में अपनी मृत्यु तक उन्होंने बिना रुके कला का निर्माण जारी रखा.

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प्रमुख घटनाएं 

25 अक्टूबर 1924- भारत में ब्रिटिश अधिकारियों ने सुभाषचंद्र बोस को गिरफ्तार कर 2 साल के लिए जेल भेज दिया.

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25 अक्टूबर 1951 - भारत में पहले आम चुनाव की शुरूआत हुई.

25 अक्टूबर 1962 - अमेरिकी लेखक जॉन स्टीनबेक को साहित्य का नोबेल पुरस्कार दिया गया.

25 अक्टूबर 1964 - अवादी कारखाने में पहले स्वदेशी टैंक ‘विजयंत’ का निर्माण किया गया.

25 अक्टूबर 1971 - संयुक्त राष्ट्र महासभा में ताइवान को चीन में शामिल करने के लिए मतदान हुआ.

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